चुनाव आयोग ने दिल्ली के मुख्य चुनाव कार्यालय को उस युवक के आरोपों की जांच करने के आदेश दिए जिसने दावा किया है कि उसने जो वोट दिया और वीवीपैट मशीन में जो दिखा वह मेल नहीं खा रहा था। युवक का यह भी दावा है कि इस संबंध में उसे शिकायत नहीं करने दी जा रही थी। यह मामला पश्चिमी दिल्ली के मटियाला विधानसभा क्षेत्र के एक मतदान केंद्र से जुड़ा हुआ है।
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, मिलन गुप्ता ने ट्वीट किया, “मेरी वीवीपैट मशीन (दिल्ली, मटियाला मतदान केंद्र संख्या 96) ने गलत चिह्न दिखाया जबकि ईवीएम मशीन की लाल बत्ती सही जली थी।
अधिकारियों ने कहा- शिकायत करने पर गिरफ्तार हो जाओगे
युवका का कहना है, “मैंने चुनाव अधिकारी से शिकायत की जिन्होंने मुझे नोडल अधिकारी के पास जाने का निर्देश दिया और उन्होंने वहां से सेक्शन ऑफिसर के पास जाने का निर्देश दिया। उन सभी ने मुझे शिकायत नहीं करने को कहा। “उन्होंने मुझे कहा कि मुझे भारतीय दंड संहिता की धारा 177 के तहत गिरफ्तार कर लिया जाएगा। मुझे यह बहुत अजीब लगा क्योंकि यह धारा बिना अदालती आदेश के गिरफ्तार करने का प्रावधान नहीं करती। मैंने उन्हें बताया कि मैं हर हाल में लिखित शिकायत करुंगा।”
युवक ने लगाए कई आरोप
मिलन ने सोशल मीडिया पर घटना के बारे में बताते हुए कहा कि वे एक परीक्षण वोट के लिए भी तैयार थे जो शाम लगभग 6 बजे शुरू हुआ, जबकि उन्होंने डेढ़ घंटे पहले ही शिकायत कर ली थी। उन्होंने आरोप लगाया कि नियमों को अनुसार मतदान नहीं रोका गया।
मिलन ने मटियाला के बूथ नंबर 96 पर वोट डाला था। उन्होंने ट्वीट किया कि उन्होंने जिसे वोट दिया वीवीपैट स्लिप पर उनका नाम नहीं आया। प्रिजाइडिंग अधिकारी से शिकायत करने पर उन्हें शिकायत करने के लिए कहा गया। लिखित शिकायत के बाद वह टेस्ट वोट के लिए तैयार हुए। फिर आंख बंद कर किसी भी बटन को दबाया और वीवीपैट में स्लिप सही निकली। किसी ईंट का निशान दबा था। इस टेस्ट वोटिंग के लिए उनसे मतदान खत्म होने तक इंतजार करवाया गया। इसके बाद पुलिस उन्हें द्वारका सेक्टर-9 थाने ले आई। वहां मिलन गुप्ता को रात लगभग 11 बजे तक बैठाया गया।