लोकसभा चुनाव के समय को लेकर चल रही अटकलों पर अब विराम लग गया है। शुक्रवार को मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने लखनऊ में बताया कि आगामी लोकसभा चुनाव तय वक्त पर ही होंगे। साथ ही उन्होंने बताया कि चुनाव में प्रत्याशियों को अब पांच साल की आय का विवरण देना होगा। अभी तक सिर्फ एक साल की आय की जानकारी देनी होती थी।
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने आगामी लोकसभा चुनाव को स्वतंत्र, निष्पक्ष और पारदर्शीपूर्ण तरीके से कराने का संकल्प व्यक्त करते हुए कहा है कि चुनाव के दौरान आचार संहिता का कड़ाई से पालन होगा और हर शिकायत पर तत्परता से कार्रवाई की जाएगी। इस सवाल पर कि क्या पाकिस्तान में वायु सेना के हमले के बाद पैदा सूरतेहाल में चुनाव समय से हो सकेंगे, अरोड़ा ने कहा कि चुनाव समय पर ही होंगे।
अरोड़ा ने लोकसभा चुनाव की तैयारियों का जायजा लेने के लिए पिछले तीन दिनों से चल रही बैठकों के दौर के बाद शुक्रवार को प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि आयोग के साथ बैठक में राजनीतिक दलों ने जातीय, साम्प्रदायिक भाषणों पर रोक लगाने, चुनाव के दौरान शत प्रतिशत केन्द्रीय बलों की तैनाती करने, मतदाता सूची में गड़बड़ियां सुधारने, मतदाता सूची को आधार से जोड़ने और इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन से मतदान की गोपनीयता सुनिश्चित करने समेत अनेक मुद्दे उठाए।
उन्होंने कहा कि आयोग स्वतंत्र, निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से चुनाव कराने के लिए संकल्पबद्ध है. आयोग आचार संहिता का कड़ाई से पालन सुनिश्चित कराएगा और चुनाव से जुड़ी हर शिकायत पर तत्परता से कार्रवाई होगी।
वहीं, ईवीएम के सवाल पर उन्होंने कहा कि ईवीएम को हमने फुटबॉल बना दिया है। मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने कहा, 'ईवीएम को हमने जाने-अनजाने में पूरे देश मे फुटबॉल बना दिया है। रिजल्ट अनुकूल है तो ईवीएम ठीक है और नहीं तो खराब।'
प्रत्याशियों को देना होगा पांच सालों की आय का विवरण
अरोड़ा ने बताया कि लोकसभा के आगामी चुनाव में फार्म 26 में दिए जाने वाले शपथपत्र में अब प्रत्याशियों को अपनी पत्नी अथवा पति, आश्रित पुत्र, पुत्री और एचयूएफ (अविभाजित हिन्दू परिवार) के पांच सालों की आय का विवरण देना होगा।
उन्होंने कहा कि नई अधिसूचना के अनुसार अब प्रत्याशियों को देश में स्थित सम्पत्तियों के साथ-साथ विदेशों में भी स्थित जायदाद के बारे में भी विवरण अनिवार्य रूप से देना होगा। आयकर विभाग इन सम्पत्तियों की जांच करेगा और अगर किसी तरह की विसंगति पाई जाती है तो उसे चुनाव आयोग की वेबसाइट पर अपलोड किया जाएगा। गलत जानकारी दिये जाने पर सख्त कार्रवाई होगी।
मोबाइल ऐप से दर्ज करा सकेंगे शिकायत
चुनाव आयुक्त ने बताया कि आगामी लोकसभा चुनाव के दौरान पूरे देश में ”सी-विजिल” मोबाइल एप्लीकेशन जारी किया जाएगा, जिस पर कोई भी नागरिक चुनाव से सम्बन्धित शिकायत दर्ज करा सकता है। शिकायतकर्ता का नाम गोपनीय रखने का विकल्प भी होगा। आयोग उन शिकायतों पर हुई कार्रवाई को अपने खर्च पर अखबारों में छपवाएगा। सोशल मीडिया पर नजर रखने के लिए एमसीएमसी कमेटियों में एक-एक सोशल मीडिया विशेषज्ञ की तैनाती होगी।
दिव्यांगों को मिली आवश्यक सुविधा
उन्होंने कहा कि आयोग ने अधिकारियों से दिव्यांग मतदाताओं की वास्तविक संख्या के बारे में जानकारी मांगी है। ऐसे मतदाताओं को मतदान में आसानी उपलब्ध कराने के लिये जरूरी सुविधाओं की समीक्षा के लिए अफसरों से कहा गया है कि वे मौके पर जाकर हालात का जायजा लें।