नीरव मोदी की कंपनी फायर स्टार डायमंड के अध्यक्ष (वित्त) विपुल अंबानी को धोखाधड़ी और अवैध एलओयू (लेटर ऑफ अंडरस्टैंडिंग) की जानकारी थी। यह एलओयू पीएनबी के डिप्टी मैनेजर गोकुलनाथ शेट्टी ने जारी किए थे। नीरव मोदी और अन्य कर्मचारी इस षड़यंत्र का हिस्सा थे।
Vipul Ambani, President Finance of Fire Star Group of Companies of Nirav Modi, was fully aware of fraudulent & illegal LoUs, which were issued by Gokulnath Shetty retired Dy. Manager of PNB, Brady House, Mumbai, in conspiracy and guidance of Nirav Modi and other employees: CBI
— ANI (@ANI) February 22, 2018
सीबीआई के मुताबिक, यह खुलासा विपुल अंबानी ने पूछताछ में किया है। मई 2013 से नवंबर 2017 तक विपुल अंबानी नीरव मोदी की कंपनी फायर स्टार डायमंड में वित्त विभाग के प्रमुख थे और उन्हें अवैध एलओयू और धोखाधड़ी के बारे में जानकारी थी।
बता दें कि कोर्ट ने विपुल अंबानी समेत पांच अन्य को कल पांच मार्च तक सीबीआई हिरासत में भेज दिया गया था। सीबीआई की तरफ से एफआइआर में लिखा गया है 6,498 करोड़ रुपए मूल्य के 150 फर्जी एलओयू (जो की एक बैंक गारंटी है) और 4,886 करोड़ रुपए मूल्य के 143 फर्जी एलओयू 2011-17 के बीच साइन किए गए। इस मामले में अर्जुन पाटील (सीनियर एक्जीक्यूटिव, फायरस्टार ग्रुप), अंबानी, कविता मानकीकर (कार्यकारी सहायक और तीन कंपनियां – डायमंड आर यूएस, स्टेलर डायमंड, सोलर एक्सपोर्ट्स), और पीएनबी की ब्रैडी हाउस ब्रांच के तत्कालीन प्रमुख राजेश जिंदल को 31 जनवरी को सीबीआई द्वारा दर्ज एफआईआर में आरोपी के रूप में शामिल किया गया है।