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कोरोना वैक्सीन की दूसरी खुराक के लिए क्यों करना पड़ रहा इंतजार? केंद्र का इन राज्यों को पत्र

देश में कोविड-19 रोधी टीकाकरण का आंकड़ा 100 अरब पार कर चुका है। इस बीच कई ऐसे लोग है जिन्होंने अभी तक...
कोरोना वैक्सीन की दूसरी खुराक के लिए क्यों करना पड़ रहा इंतजार? केंद्र का इन राज्यों को पत्र

देश में कोविड-19 रोधी टीकाकरण का आंकड़ा 100 अरब पार कर चुका है। इस बीच कई ऐसे लोग है जिन्होंने अभी तक वैक्सीनेशन की दूसरी खुराक नहीं ली है। ऐसे में केंद्र सरकार ने उन राज्यों को खत लिखकर जवाब मांगा है, जो वैक्सीन की दूसरी डोज लगाने में पिछड़ गए हैं। केंद्र ने राज्य की सरकारों को पत्र में लिखा है कि उनके यहां कोरोना वैक्सीन की दूसरी डोज को देने में कोई देर न की जाए। देश में अब तक केवल 9 करोड़ ऐसे लोग हैं जिन्हें केवल कोरोना की पहली वैक्सीन लगी है, लेकिन दूसरी डोज के लिए इंतजार कर रहे हैं।

इन राज्यों को भेजे गए पत्र

केंद्र ने दूसरी डोज देने के लिए उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, राजस्थान और ओडिशा शामिल हैं। इन राज्यों में ऐसे कुल 9 करोड़ लोगों की 27 फीसदी संख्या मौजूद है। हिन्दुस्तान टाइम्स के अनुसार यह पत्र हेल्थ मिनिस्ट्री के सचिव राजेश भूषण की ओर से लिखा गया है।

कोविशील्ड वैक्सीन की पहली और दूसरी खुराक के बीच 12 हफ्ते यानी लगभग 2 महीने का अंतराल रखने का फैसला किया है। इसके अलावा स्वदेशी कोवैक्सीन की दोनों डोज के बीच 4 सप्ताह का अंतराल रखा गया है। देश में अब तक जितने कोरोना टीके लगे हैं, उनमें 90 फीसदी संख्या पहली डोज की ही है।

वैक्सीन की दूसरी डोज के आंकड़ें

देश में जिन 9 करोड़ लोगों को कोरोना वैक्सीन का दूसरा टीका नहीं लगा है, उनमें से उत्तर प्रदेश के 1.56 करोड़ लोग शामिल हैं। राजेश भूषण द्वारा यूपी के अतिरिक्त स्वास्थ्य सचिव को लिखे गए पत्र में कहा गया, 'कोविन पोर्टल पर 20 अक्टूबर तक के डेटा के अनुसार यूपी में 12 करोड़ 48 लाख लोगों को वैक्सीन लगी है। इनमें ज्यादातर लोग ऐसे हैं जिन्हें दूसरा टीका नहीं लगा है। आपके पास कोविशील्ड की 87,57,640 और कोवैक्सीन की 28,10,780 डोज मौजूद हैं।' इसी प्रकार से पश्चिम बंगाल में भी अभी तक 30 लाख से ज्यादा लोगों को कोरोना की दूसरी वैक्सीन नहीं लगी है। राजस्थान में भी यह आंकड़ा 30 लाख के करीब है।

बता दें इन दिनों कोरोना के नए मामलों में भारी गिरावट आई है। दैनिक मामले 20 हजार से नीचे आ रहे हैं। इसलिए कोरोना से बचाव के लिए दोनों वैक्सीन की डोज लेना जरूरी है। ऐसे में बड़ी संख्या में सिर्फ एक ही टीका लगने के चलते चिंताएं बढ़ गई हैं। इससे ब्रेकथ्रू इन्फेक्शन का खतरा बढ़ गया है। खासतौर पर कोरोना के म्यूटेंट वैरिएंट्स से संक्रमित होने का खतरा बढ़ जाता है।

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