प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को जब अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी पहुंचे तो उन्हें एक 19 वर्षीय छात्रा के साथ कथित गैंगरेप की घटना की जानकारी दी गई। यूपी सरकार की ओर से जारी बयान में कहा गया, "वाराणसी में हाल ही में हुई आपराधिक बलात्कार की घटना पर प्रधानमंत्री को पुलिस कमिश्नर, मंडलायुक्त और जिलाधिकारी ने विस्तृत जानकारी दी।"
प्रधानमंत्री ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए कि दोषियों के खिलाफ कठोरतम कार्रवाई की जाए और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाए जाएं।
क्या है पूरा मामला?
पीड़िता के पिता के अनुसार, उनकी बेटी 29 मार्च को अपनी एक दोस्त से मिलने के लिए घर से निकली थी। इसके बाद वह कुछ लड़कों के संपर्क में आई और कई दिन बीत गए। परिवार ने पहले खुद तलाश की, लेकिन असफल रहने पर 3 अप्रैल को पुलिस में शिकायत की। 4 अप्रैल को पुलिस ने युवती को बरामद किया। वह गंभीर अवस्था में थी। इलाज के बाद जब उसकी हालत सुधरी, तो उसने पूरा घटनाक्रम बताया।
पुलिस के मुताबिक, युवती को बहला-फुसलाकर ले जाया गया और कई दिनों तक उसके साथ सामूहिक दुष्कर्म किया गया। पीड़िता का आरोप है कि 7 दिनों में कुल 23 लोगों ने उसके साथ बलात्कार किया। पुलिस ने अब तक 9 आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया है, जबकि 11 अन्य की तलाश जारी है।
पीड़िता के पिता ने मीडिया से कहा, "मेरी बेटी कॉमर्स से इंटर कर रही थी और खेलों में करियर बनाना चाहती थी। उसे नशीली चीजें खिलाकर बार-बार दुष्कर्म किया गया। इतने लोगों की संलिप्तता दर्शाती है कि यह एक सोची-समझी साजिश थी।"
उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से न्याय की गुहार लगाते हुए कहा, "मैं फांसी की मांग नहीं करता, लेकिन सज़ा इतनी कठोर होनी चाहिए कि कोई भी ऐसी घिनौनी हरकत करने से पहले सौ बार सोचे।"
आरोपियों के वकील आलोक सौरभ ने बताया, "अभी तक कुल 23 लोगों पर आरोप है, जिनमें से 11 की पहचान नहीं हो सकी है। 9 आरोपियों को न्यायिक हिरासत में भेजा गया है।"