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बारिश बनी आफत: पंजाब, हरियाणा में कम से कम 55 लोगों की मौत; अगले 3-4 घंटे के लिए अलर्ट जारी

भारी बारिश से प्रभावित पंजाब और हरियाणा में कई स्थानों से अब धीरे धीरे बाढ़ का पानी कम होना शुरू हो गया...
बारिश बनी आफत: पंजाब, हरियाणा में कम से कम 55 लोगों की मौत; अगले 3-4 घंटे के लिए अलर्ट जारी

भारी बारिश से प्रभावित पंजाब और हरियाणा में कई स्थानों से अब धीरे धीरे बाढ़ का पानी कम होना शुरू हो गया है। हालांकि, शनिवार को दोनों राज्यों के बाढ़ प्रभावित इलाकों में राहत कार्य जारी रहे। पंजाब के 14 और हरियाणा के 13 जिले हाल की बारिश से प्रभावित हुए हैं। दोनों राज्यों में बारिश से संबंधित घटनाओं में कम से कम 55 लोगों की मौत हो गई है। वहीं, अगले 3-4 घंटों के दौरान इन क्षेत्रों में हल्की/मध्यम वर्षा होने की संभावना है।

आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, पंजाब में कुल 29 जबकि हरियाणा में मरने वालों की संख्या 26 है। पंजाब के विभिन्न बाढ़ प्रभावित जिलों में 25,000 जबकि हरियाणा में 5,300 से अधिक लोगों को जलमग्न इलाकों से रेस्क्यू किया गया। बता दें कि हरियाणा के यमुनानगर में हथिनीकुंड बैराज पर प्रवाह दर शाम 6 बजे 53,370 क्यूसेक और रात 8 बजे 54,619 क्यूसेक थी। भारतीय मौसम विभाग ने बताया कि उत्तरी पंजाब, दक्षिणी हरियाणा पर संवहन देखा जा सकता है। अगले 3-4 घंटों के दौरान इन क्षेत्रों में हल्की/मध्यम वर्षा होने की संभावना है।

इस बीच, अधिकारियों ने बताया कि बुढलाडा में चांदपुरा बांध के पास एक तटबंध में और सरदुलगढ़ क्षेत्र के रोरकी गांव में एक दरार आ गई, जिससे बाढ़ का खतरा बढ़ गया। उन्होंने बताया कि कई गांवों में बाढ़ को रोकने के लिए दरारों को भरने का काम चल रहा है। हालांकि, लोगों के रेस्क्यू के लिए जिला प्रशासन पूरी तरह मुस्तैद है।

हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यन्त चौटाला ने शनिवार को फरीदाबाद जिले के बाढ़ प्रभावित गांवों का निरीक्षण किया। उधर, संगरूर के उपायुक्त जितेंद्र जोरवाल ने कहा कि मूनक में कम से कम 20 गांवों में बाढ़ का पानी अभी भी है, हालांकि पानी का स्तर लगातार कम होने की उम्मीद है। खनौरी के पास राष्ट्रीय राजमार्ग 71 सहित कुछ सड़कें बाढ़ के पानी के कारण क्षतिग्रस्त होने के कारण यातायात के लिए बंद कर दी गईं।

पंजाब के पटियाला जिले में शुतराना, समाना और सनौर सबसे अधिक प्रभावित क्षेत्र थे। पटियाला की उपायुक्त साक्षी साहनी ने कहा कि स्थिति जल्द ही सामान्य हो जानी चाहिए। पंजाब के कैबिनेट मंत्री हरपाल सिंह चीमा और अमन अरोड़ा ने संगरूर के लेहरा का दौरा किया और बाढ़ प्रभावित लोगों को राहत सामग्री वितरित की।

जल आपूर्ति एवं स्वच्छता मंत्री ब्रम शंकर जिम्पा ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बाढ़ से प्रभावित पेयजल आपूर्ति की मरम्मत के लिए 10 करोड़ रुपये की धनराशि जारी की है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पहले से ही वैकल्पिक व्यवस्था के माध्यम से बाढ़ पीड़ितों को स्वच्छ पानी की आपूर्ति सुनिश्चित कर रही है। बाढ़ प्रभावित इलाकों में मेडिकल कैंप लगाए गए हैं।

पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने डिप्टी कमिश्नर को गिद्दड़पिंडी रेलवे पुल के नीचे नदी के तल से गाद और रेत को साफ करने के लिए कहा। मान ने कहा है कि उनकी सरकार राज्य को तबाह करने वाली बाढ़ से हुए नुकसान की एक-एक पाई की भरपाई करेगी।

वर्तमान में 359 त्वरित प्रतिक्रिया दल कार्यरत हैं, जबकि 263 चिकित्सा शिविर लगाए गए हैं। कुल 25,160 बाढ़ प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। अधिकारियों के मुताबिक 164 राहत शिविर में 3,331 लोग रह रहे हैं। बाढ़ से 1.60 लाख हेक्टेयर से अधिक कृषि भूमि प्रभावित हुई है। जिला अधिकारी, सेना, सीमा सुरक्षा बल और राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) के कर्मियों के साथ, राहत कार्यों में शामिल थे।

पंजाब में प्रभावित जिले : पटियाला, मोगा, लुधियाना, मोहाली, जालंधर, संगरूर, पठानकोट, तरनतारन, फिरोजपुर, फतेहगढ़ साहिब, फरीदकोट, होशियारपुर, रूपनगर और एसबीएस नगर

हरियाणा में प्रभावित जिले : अंबाला, फतेहाबाद, फरीदाबाद, पंचकुला, झज्जर, कुरूक्षेत्र, करनाल, कैथल, पानीपत, सोनीपत, पलवल, सिरसा और यमुनानगर

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