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भोपाल में सरकारी अस्पताल से 853 रेमडेसिविर इंजेक्शन की चोरी, दिए जांच के आदेश

रेमडेसिविर का ऊंचे दामों पर कालाबाजारी को देखते हुए चोरो की नजर इस पर पड़ गई है। भोपाल के सबसे बड़े...
भोपाल में सरकारी अस्पताल से 853 रेमडेसिविर इंजेक्शन की चोरी, दिए जांच के आदेश

रेमडेसिविर का ऊंचे दामों पर कालाबाजारी को देखते हुए चोरो की नजर इस पर पड़ गई है। भोपाल के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल हमीदिया के स्टोर से चोरो ने स्टोर से 853 रेमडेसिविर इंजेक्शन उड़ा लिये है। राज्य में इंजेक्शन के लिए जारी भारी किल्लत के बीच चोरी का यह मामला सामने आया है। राज्य सरकार ने हाल में यहां पर रेडमेसिविर की उपलब्धता कराई थी। चोरी के बाद प्रसासन ने जांच के आदेश दे दिये है।

देशभर में कोरोना के गंभीर मरीजों को लगाया जाने वाला रेमडेसिविर इंजेक्शन खुले बाजार में नहीं मिल पा रहा है। प्रदेश भर में इसकी मांग तेजी से बढ़ती जा रही है।  ऐसे में सरकारी अस्पतालों से यह इंजेक्शन देने की व्यवस्था शुरू की गई। प्रदेश के प्रमुख शहरों में हेलिकॉप्टर से इंजेक्शन पहुंचाए गए। हमीदिया अस्पताल के मरीजों के लिए सरकार ने 853 रेमडेसिविर इंजेक्शन भेजे थे। शुक्रवार को ये इंजेक्शन अस्पताल पहुंचे थे और शनिवार को इन्हें मरीजों को लगाया जाना था। चोरो ने स्टोर की ग्रिल तोड़कर इंजेक्शन चुरा लिया।

मध्य प्रदेश में रेमडेसिवरि इंजेक्शन को लेकर हुई मारा-मारी के बीच सरकार ने इसकी आपूर्ति के लिए नई गाइडलाइन जारी की थी। इसके मुताबिक भोपाल, इंदौर, उज्जैन व देवास को छोड़कर अन्य जिलों में 50% इंजेक्शन आवंटन के कलेक्टर को अधिकार दिए गए हैं। इसी तरह अनुबंधित अस्पताल से कोई राशि नहीं ली जाएगी, जबकि प्राइवेट अस्पताल से प्राप्त राशि ( प्रति इंजेक्शन 1568 रुपए) रेडक्रॉस में जमा कराई जाएगी।

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