कांग्रेस के प्रवक्ता शक्ति सिंह गोहिल ने राफेल सौदे को भ्रष्टाचार का सबसे बड़ा मामला बताते हुए कहा कि साठगांठ वाले पूंजीवाद की संस्कृति नरेंद्र मोदी सरकार का डीएनए बन गई है।
पीटीआई के मुताबिक, रविवार को एक दिन के दौरे पर राजस्थान के कोटा आए गोहिल ने संवाददाताओं से कहा कि कांग्रेस कार्यकर्ता देश भर में घूम-घूमकर भ्रष्ट राफेल सौदे का पर्दाफाश करेंगे। उन्होंने पूछा कि नरेंद्र मोदी के कार्यकाल में प्रति राफेल विमान की कीमत किस तरह 526 करोड़ रुपये से 300 प्रतिशत बढ़कर 1,670 करोड़ रुपये हो गई।
'निर्मला सीतारमण हैं नौसिखया'
गोहिल ने कहा कि पहली बार चार वर्षों के कार्यकाल में तीन रक्षा मंत्री रहे हैं। कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया, ‘‘अरुण जेटली और मनोहर पर्रिकर राफेल सौदे में भ्रष्टाचार के आरोप से बच निकले। निर्मला (सीतारमण) को राजनीतिक रूप से नौसिखिया होने के कारण अब बलि का बकरा बनाया जा रहा है।’’
'बोफोर्स घोटाले में राजीव गांधी के खिलाफ नहीं मिला सबूत'
उन्होंने कहा कि भाजपा ने बोफोर्स सौदे में भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए कांग्रेस के खिलाफ अभियान चलाया था। हालांकि, राजीव गांधी के खिलाफ कोई सबूत नहीं मिला। गोहिल ने कहा कि जब इस तरह के सौदे हो रहे हों तब समितियों के एक समूह को उसपर चर्चा करनी चाहिये ताकि भ्रष्टाचार का कोई भी मौका ना बचे। उन्होंने पूछा कि मोदी सरकार अगर राफेल सौदे को लेकर आश्वस्त है तो वह कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की मांग के अनुरूप एक संयुक्त संसदीय समिति का गठन क्यों नहीं करती।