राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने कहा कि ब्रांडिंग पर विशेष ध्यान देकर, उत्पादों की विभिन्न बाज़ारों में पहुंच बढ़ाई जा सकती है। उपभोक्ता स्वयं उत्पादों तक नहीं आता, उत्पादों के प्रति उपभोक्ता की रुचि जगाने के लिए, उसके पास जाना पड़ता है। उन्होंने कहा कि मेरा सुझाव है कि ब्रांडिंग के लिए देश के प्रमुख सात-आठ नगरों में, उत्तर प्रदेश के जिलों के उत्पादों की लगभग 10 से 15 दिनों की प्रदर्शनी का आयोजन किया जा सकता है। उत्तर प्रदेश के राज्यपाल या मुख्यमंत्री की उपस्थिति द्वारा मेजबान राज्य के राज्यपाल या मुख्यमंत्री को आमंत्रित करके, ऐसी प्रदर्शनी के महत्व और इन उत्पादों के प्रति आकर्षण को बढ़ाया जा सकता है।
यह बातें उन्होंने शुक्रवार को प्रदेश सरकार की एमएसएमई सेक्टर की फ्लैगशिप योजना एक जिला, एक उत्पाद के विधिवत शुभारंभ के दौरान कहीं। इस दौरान क्वालिटी काउंसिल ऑफ इंडिया, अमेजन, विप्रो जीई हेल्थ केयर, एनएसई, बीएसई और उत्तर प्रदेश सरकार के बीच एमओयू का आदान-प्रदान भी हुआ। इसके अलावा राष्ट्रपति ने ओडीओपी कॉफी टेबल बुक का विमोचन किया। साथ ही टोल फ्री नंबर और वेबसाईट की भी शुरूआत की। राष्ट्रपति ने बटन दबाकर 75 जिलों के चार हजार 95 एमएसएमई कारोबारियों को एक हजार छह करोड़ 94 लाख रुपये के लोन भी दिए। कार्यक्रम का प्रदेश के सभी जिला मुख्यालयों पर सीधा प्रसारण भी हो रहा था। गोरखपुर और वाराणसी के कारोबारियों ने अपने अनुभव भी शेयर किए।
कार्यक्रम में राष्ट्रपति ने कहा कि कुछ ही महीनों बाद, पूरी दुनिया की निगाहें उत्तर प्रदेश पर होंगी, जब इलाहाबाद के कुंभ में शामिल होने के लिए देश-विदेश के करोड़ों श्रद्धालु और पर्यटक आएंगे। विश्व के सबसे बड़े मेले के आयोजन की तैयारी, अब अंतिम चरण में है। मेरा सुझाव है कि यदि संभव हो तो कुंभ मेले में प्रत्येक जिले के उत्पादों की प्रदर्शनी का आयोजन भी किया जाए।
उन्होंने कहा कि आज के इस ‘वन डिस्ट्रिक्ट, वन प्रोडक्ट’ समिट के प्रतिभागियों में, मैं एक विशेष उत्साह का अनुभव कर रहा हूं। लाभार्थियों और सरकार की टीम के सदस्यों में ‘पॉज़िटिव एनर्जी’ देखकर मुझे प्रसन्नता हो रही है। ऐसा ही उत्साह मैंने इस वर्ष फरवरी में आयोजित ‘उत्तर प्रदेश इन्वेस्टर्स समिट’ में भी देखा था। विकास और जन-कल्याण के लक्ष्यों के प्रति ऐसा उत्साह, राज्य के निवासियों के लिए बहुत उपयोगी सिद्ध होगा। स्पष्ट योजनाओं और महत्वाकांक्षी लक्ष्यों को लेकर, जनहित में आगे बढ़ने के लिए, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनकी पूरी टीम को मैं बधाई देता हूं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रदेश के युवाओं को स्वावलंबन की ओर अग्रसर करना हमारे लिए चुनौती थी। हमने पलायन रोकने के लिए अभूतपूर्व कार्य किए। जब इंवेस्टर समिट का आयोजन किया गया था तो लोग कहते थे कि ऐसे आयोजन बहुत देखे हैं। हमने पांच महीने में 60 हजार करोड़ से अधिक की योजनाओं को जमीन पर उतारा। 50 हजार करोड़ की और योजनाएं पाइप लाइन में हैं। हमने ढाई सौ करोड़ रुपये का बजट स्टार्ट अप के लिए अलग से रखा है। ओडीओपी से एक साल में पांच लाख और पांच साल में 25 लाख युवाओं को रोजगार मिलेंगे।