ओडिशा के पुरी में गुंडिचा मंदिर के पास मची भगदड़ को लेकर राजनीति शुरू हो गई है। बीजेडी अध्यक्ष और राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधा और दावा किया कि ओडिशा के पुरी में गुंडिचा मंदिर के पास मची भगदड़ ने भक्तों के लिए शांतिपूर्ण रथ यात्रा सुनिश्चित करने में राज्य सरकार की घोर अक्षमता को उजागर कर दिया है।
पटनायक ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, 'मैं सारधाबली, पुरी में हुई दुखद भगदड़ में अपनी जान गंवाने वाले तीन भक्तों के परिवारों के प्रति अपनी हार्दिक संवेदना व्यक्त करता हूं और इस विनाशकारी घटना में घायल हुए भक्तों के शीघ्र स्वस्थ होने के लिए महाप्रभु जगन्नाथ से प्रार्थना करता हूं।'
ओडिशा विधानसभा में विपक्ष के नेता ने कहा, 'रथयात्रा के दौरान भीड़ प्रबंधन की घोर विफलता के ठीक एक दिन बाद आज की भगदड़ ने भक्तों के लिए शांतिपूर्ण उत्सव सुनिश्चित करने में सरकार की घोर अक्षमता को उजागर किया है।'
पटनायक ने आरोप लगाया, 'प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि इस भयावह त्रासदी पर शुरुआती प्रतिक्रिया श्रद्धालुओं के रिश्तेदारों की ओर से आई, क्योंकि बढ़ती भीड़ को संभालने के लिए कोई सरकारी तंत्र मौजूद नहीं था, जो कर्तव्य में चौंकाने वाली चूक को दर्शाता है।'
पांच बार मुख्यमंत्री रह चुके पटनायक ने कहा, 'हालांकि मैं सरकार पर आपराधिक लापरवाही का आरोप लगाने से बचता हूं, लेकिन उनकी घोर लापरवाही ने निस्संदेह इस त्रासदी में योगदान दिया है। मैं सरकार से आग्रह करता हूं कि वह अडापा बिजे, बाहुदा, सुना बेशा और अन्य प्रमुख रथयात्रा अनुष्ठानों के सुचारू संचालन को सुनिश्चित करने के लिए तत्काल सुधारात्मक उपाय लागू करे।'
आज तड़के पुरी में वार्षिक रथ यात्रा उत्सव के दौरान गुंडिचा मंदिर के पास हुई एक दर्दनाक भगदड़ में कम से कम तीन लोगों की मौत हो गई और लगभग 50 अन्य घायल हो गए। पुरी के जिला कलेक्टर सिद्धार्थ एस स्वैन ने बताया कि यह घटना सुबह करीब 4 बजे उस समय हुई जब सैकड़ों श्रद्धालु रथ यात्रा देखने के लिए मंदिर के पास जमा हुए थे।
अधिकारियों के अनुसार, अराजकता तब फैली जब दो ट्रक भीड़-भाड़ वाले क्षेत्र में घुस आए। ये ट्रक भगवान जगन्नाथ और उनके भाई-बहनों के रथों के पास अनुष्ठानों के लिए सामग्री ले जा रहे थे, जिससे भक्तों के बीच हड़कंप मच गया और भगदड़ की स्थिति पैदा हो गई।
घटना के बाद स्थानीय प्रशासन ने तत्काल राहत और बचाव कार्य शुरू किया। घायलों को नजदीकी अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। ओडिशा सरकार ने इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना की गहन जांच के आदेश दिए हैं।