झारखंड की राजधानी रांची में मिशनरीज ऑफ चैरिटी में नवजात शिशुओं को बेचने के मामले में पुलिस को सफलता हासिल हुई है। मदर टेरेसा द्वारा शुरू की गई संस्था मिशनरीज ऑफ चैरिटी की एक नन और सिस्टर कोनसिलिया ने यह बात कबूल कर ली है कि उन लोगों ने मिलकर बच्चे बेचे थे।
एएनआई के मुताबिक, रांची पुलिस के सामने अपना गुनाह कबूल करते हुए सिस्टर कोनसिलिया ने कहा है कि उसने 50-50 हजार रुपयों में दो बच्चों को बेचा है जबकि एक बच्चे को एक लाख बीस हजार रुपये में बेचा था। लेकिन एक अन्य बेचे गए बच्चे की पूरी जानकारी उसके पास नहीं है। पुलिस इस मामले में बेचे गए तीन बच्चों को पहले ही बरामद कर चुकी है।
सिस्टर के कबूलनामे के अलावा एक वीडियो भी सामने आया है, जिसमें संस्था की एक नन यह कबूल करते हुए नजर आ रही है कि उसने दो और बच्चे बेचे हैं जबकि एक बच्चे को मुफ्त में दे दिया था।
#WATCH: A nun of Missionaries of Charity says," I have sold two more babies. I don't know where they are now." She is one of the two nuns who was arrested by Ranchi police on charges of child trafficking on July 9. Police say '3 out of 4 children have been recovered.' #Jharkhand pic.twitter.com/V9DO2pQrbW
— ANI (@ANI) July 14, 2018
नन अनिमा ने भी मानी बच्चा बेचने की बात
अनिमा इन्दवार की तरफ से दिए गए कबूलनामे में लिखा है कि अनिमा संस्था में पांच साल से काम कर रही थी और उसने सिस्टर कोनसिलिया के साथ मिलकर बच्चों को बेचा है। जानकारी के मुताबिक, रांची पुलिस ने बच्चों की बिक्री के मामले में मदर टेरेसा की संस्था मिशनरी ऑफ चैरिटीज की सिस्टर एवं कर्मचारी को पूछताछ के लिए चार दिनों की रिमांड पर लिया है। जिससे पूरे रैकेट का पर्दाफाश किया जा सके।
पिछले दिनों पुलिस ने मदर टेरेसा की संस्था मिशनरीज ऑफ चैरिटी की दो सिस्टर्स और एक महिला कर्मचारी को नवजात बच्चों की बिक्री के आरोप में गिरफ्तार किया था। गिरफ्तार की गई महिला और दो ननों पर आरोप है कि चैरिटी होम की महिला संचालक के साथ मिलकर कई नवजात बच्चों को बेच चुकी हैं। एक पुलिस अधिकारी ने बताया था कि गिरफ्तार की गई मिशनरीज ऑफ चैरिटी की दोनों नन अब तक कुल चार बच्चों को बेच चुकी हैं।