‘थोड़ी सी जो पी ली है, चोरी तो नहीं की है...’
यह तो सही है कि थोड़ी सी पीना कोई चोरी नहीं है। लेकिन यदि चोरी की पी है तो यह वाकई गलत बात है। चोरी की शराब यानी अवैध शराब पर रोक लगाने के लिए दिल्ली सरकार ने एक मोबाइल एप्लीकेशन विकसित किया है। इस एप्लीकेशन के जरिये अब ग्राहक अपनी पसंदीदा ब्रांड की शराब की वैधता परख सकेंगे। इससे अवैध शराब की बिक्री पर लगाम लगाने में आसानी होगी। mliquorcheck नाम से बने इस एप्लीकेशन की मदद से ग्राहक खरीदी गई शराब की वैधता परख सकेंगे और साथ ही आबकारी विभाग भी दिल्ली में अवैध और जहरीली शराब की बिक्री की निगरानी कर सकेगा।
अंगूर की बेटी की असलियत परखने के लिए एप्लीकेशन की मदद से शराब की बोतल या उसके ढक्कन पर लगे बारकोड को स्कैन कर सटीक जानकारी मिल सकेगी। बारकोड स्कैन करने के बाद शराब के ब्रांड का नाम, बोतल का आकार और बनने की तारीख की जानकारी मिल सकेगी। इससे ग्राहक यह भी जान सकेंगे कि शराब आबकारी विभाग द्वारा स्वीकृत व्यवस्था के तहत प्राप्त हुई है या नहीं।
गौरतलब है कि अवैध शराब पीने से हर साल पूरे देश में लाखों लोगों की मौत हो जाती है। पूरे देश में अवैध शराब बनाने का कारोबार खूब चलता है। कच्ची शराब बनाने वाले असली शराब की बोतलों की विश्वसनीय नकल कर उसमें अवैध शराब भर कर बेचते हैं। ऐसे में यह एप्लीकेशन असली-नकली के बीच सही तथ्यात्मक फर्क बता पाएगा।