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स्मृति को वोट न देने का खामियाजा भुगतेगी अमेठी और रायबरेली की जनता

अमेठी लोकसभा सीट से भाजपा उम्मीदवार रही केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी को वोट न देने का खामियाजा इस संसदीय सीट के साथ-साथ रायबरेली की भी जनता को भुगतना पड़ सकता है। सरकार अमेठी और रायबरेली से दो बड़ी परियोजनाओं को कहीं और शिफ्ट कराने के बारे में विचार कर रही है।
स्मृति को वोट न देने का खामियाजा भुगतेगी अमेठी और रायबरेली की जनता

गौरतलब है कि अमेठी से राहुल गांधी और रायबरेली से सोनिया गांधी सांसद हैं। लोकसभा चुनाव के दौरान राहुल गांधी के खिलाफ भाजपा ने स्मृति ईरानी को चुनाव मैदान में उतारा था। ईरानी राहुल गांधी से चुनाव हार गई थी। केंद्र में भाजपा की सरकार बन गई और अमेठी और रायबरेली के लिए स्वीकृत योजनाएं खटाई पड़ गई। यूपीए सरकार ने साल 2014 में अमेठी में जगदीशपुर पेपर मिल लगाने की मंजूरी दी थी इसी तरह रायबरेली में नेशनल ऑटोमोटिव टेस्टिंग एंड आरएंडडी इंफ्रास्टक्चर प्रोजेक्ट लगाया जाना था। लेकिन अब सरकार इन दोनों योजनाओं को हटाने पर विचार कर रही है। 

केंद्रीय हैवी इंडस्ट्रीज एंड पब्लिक इंटरप्राइजेज मंत्री अनंत गीते ने माना भी है कि इन दोनों योजनाओं की यहां कोई उपयोगिता नहीं है इसलिए इसे दूसरी जगह पर शिफ्ट किया जा सकता है। गीते के मुता‌बिक इसमें कोई राजनीतिक फायदे वाली कोई बात नहीं है लेकिन ये योजनाएं खराब हालत में है। अगर यह योजनाएं यहां से किसी दूसरे जगह पर शिफ्ट की जाती है तो आशय साफ है कि अमेठी और रायबरेली की जनता जो कि इन योजनाओं से रोजगार पाने की उम्मीद कर रही ‌थी उसे अब उम्मीद छोड़नी होगी। 

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