हाइकोर्ट ने शुक्रवार को पश्चिम बंगाल प्राथमिक विद्यालय भर्ती घोटाले से जुड़े सीबीआई मामले में तृणमूल कांग्रेस के पूर्व युवा नेता कुंतल घोष को नियमित जमानत दे दी।
न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति उज्ज्वल भुइयां की पीठ ने कहा कि इस मामले में निकट भविष्य में मुकदमा पूरा होने की संभावना नहीं है, क्योंकि घोष पिछले 19 महीनों से हिरासत में हैं।
घोष की ओर से पेश हुए वकील एम.एस. खान ने अपनी दलील के समर्थन में निचली अदालत के दो आदेश प्रस्तुत किए कि निकट भविष्य में मुकदमा पूरा नहीं होगा, क्योंकि सीबीआई ने अभी तक मामले में अंतिम आरोपपत्र दाखिल नहीं किया है।
पीठ ने घोष को जमानत दे दी और उनसे कहा कि वह अदालत या जांच एजेंसी की पूर्व अनुमति के बिना पश्चिम बंगाल से बाहर न जाएं। इसमें कहा गया है कि घोष कोई सार्वजनिक पद भी नहीं संभालेंगे और जांच की योग्यता से संबंधित मीडिया में कोई बयान नहीं देंगे।
20 नवंबर को कलकत्ता उच्च न्यायालय ने स्कूल भर्ती घोटाले से जुड़े प्रवर्तन निदेशालय के मामले में मुख्य आरोपियों में से एक घोष को सशर्त जमानत दे दी थी।
घोष को ईडी ने 21 जनवरी, 2023 को धन शोधन मामले में गिरफ्तार किया था और इसके बाद 20 फरवरी, 2023 को सीबीआई ने पश्चिम बंगाल प्राथमिक विद्यालय भर्ती घोटाले से संबंधित भ्रष्टाचार मामले में गिरफ्तार किया था।