दूसरी ओर भाजपा के नए विधायकों के राज्यपाल नजमा हेपतुल्ला से मुलाकात करने की खबर है और सूचना है कि तृणमूल कांग्रेस के एक विधायक भी उनके साथ थे। इसके अलावा नगा पीपुल्स फ्रंट पहले ही राज्य में गैर कांग्रेसी सरकार को समर्थन की घोषणा कर चुका है। एनपीपी के पास चार, एनपीएफ के पास चार, लोजपा के पास एक और तृणमूल के पास एक विधायक है। भाजपा के पास 21 विधायक हैं। यानी भाजपा को सरकार गठन के लिए जरूरी 31 विधायकों का समर्थन हासिल होता दिख रहा है।
भाजपा महासचिव राम माधव ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, हम मणिपुर में सरकार बनाने के अपने प्रयास के तहत एनपीपी और लोक जनशक्ति पार्टी के साथ तालमेल बनाने में सक्षम हुए हैं। एनपीपी और लोजपा दोनों केंद्र में राजग के घटक दल हैं। माधव ने कहा कि राजग के एक अन्य घटक दल नगा पीपुल्स फ्रंट के साथ समर्थन से सीटों की संख्या 30 तक हो जाएगी। उन्होंने कहा कि कल एनपीएफ ने प्रेस में एक बयान जारी किया था जिसमें उसने कहा था कि वह मणिपुर में गैर कांग्रेसी सरकार बनाने की इच्छुक है। एनपीपी के कोनराड संगमा ने कहा कि लोकप्रिय जनादेश मणिपुर में बदलाव के लिए था। यह पूछे जाने पर कि भाजपा के गठबंधन सरकार बनाने की स्थिति में कौन मुख्यमंत्री होगा तो माधव ने कहा कि पार्टी नेतृत्व शीघ्र फैसला करेगा।