पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल की हत्या की शिकार महिला डॉक्टर को अपनी 'बहन' बताया और पीड़िता के माता-पिता के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की।
उन्होंने अपराध के लिए जिम्मेदार लोगों को कड़ी सजा देने की भी मांग की।
धोनो धन्यो ऑडिटोरियम में वरिष्ठ एवं कनिष्ठ चिकित्सकों तथा मेडिकल छात्रों की एक विशेष सभा को संबोधित करते हुए बनर्जी ने न्याय सुनिश्चित करने के लिए अपनी सरकार के प्रयासों पर प्रकाश डाला तथा अपराजिता विधेयक पेश करने पर जोर दिया जिसमें बलात्कार के दोषियों को मृत्युदंड देने का प्रावधान है।
बनर्जी ने कहा, "मैं आरजी कर अस्पताल में मारी गई बहन के परिवार के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करती हूं। हम इस मामले में उचित सजा की मांग करते हैं।"
उन्होंने कहा, "मैं भी इस घटना के विरोध में सड़कों पर उतरी थी। हमारी सरकार ने अपराजिता विधेयक पारित किया था, लेकिन यह अभी भी (राष्ट्रपति के पास) लंबित है।"
पिछले वर्ष 9 अगस्त को कोलकाता के सरकारी अस्पताल में 31 वर्षीय जूनियर डॉक्टर के साथ बलात्कार के बाद उसकी हत्या कर दी गई थी, जिससे पूरे देश में आक्रोश फैल गया था।
अपराजिता महिला एवं बाल अधिकार विधेयक (पश्चिम बंगाल आपराधिक कानून एवं संशोधन) विधेयक, 2024 को पिछले सितंबर में पश्चिम बंगाल विधानसभा ने सर्वसम्मति से पारित कर दिया था। इस विधेयक में बलात्कार के दोषियों के लिए मृत्युदंड का प्रावधान है, यदि उनके अपराध के परिणामस्वरूप पीड़िता की मृत्यु हो जाती है या वह अचेत अवस्था में चली जाती है।
उन्होंने कहा, "मैं अपने भाइयों को हमारी बहनों की सुरक्षा करने और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने की जिम्मेदारी सौंपती हूं। आज, कोई लैंगिक असमानता नहीं है, जो एक बहुत ही सकारात्मक विकास है। सरकार निश्चित रूप से अपना काम करेगी, लेकिन मेरा मानना है कि आप (भाई) इस मामले में सक्रिय भूमिका निभा सकते हैं।"
इस महीने की शुरुआत में तृणमूल कांग्रेस के कई सांसदों ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात कर लंबित विधेयक पर चर्चा की थी, जिसे राज्यपाल सी.वी. आनंद बोस ने राष्ट्रपति कार्यालय को भेजा था।