आम आदमी पार्टी (आप) ने दिल्ली के निवर्तमान मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के लिए शुक्रवार को सरकारी आवास की मांग की और कहा कि एक राष्ट्रीय पार्टी का संयोजक होने के नाते वह इसके हकदार हैं। आप के राज्यसभा सदस्य राघव चड्ढा ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि पार्टी इस संबंध में संबंधित मंत्रालय को पत्र लिखेगी। आम आदमी पार्टी (आप) ने अरविंद केजरीवाल के लिए सरकारी आवास की मांग की और कहा कि एक राष्ट्रीय पार्टी का संयोजक होने के नाते वह इसके हकदार हैं।
आप के राज्यसभा सदस्य राघव चड्ढा ने कहा कि हमने दिल्ली के सीएम और AAP के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल का इस्तीफा देखा है। उनके इस्तीफे से एक बात तो साबित हो गई है कि केजरीवाल सत्ता या पद के भूखे नहीं हैं। उन्हें सिर्फ इस देश की राजनीति में नैतिकता की चिंता है। उन्होंने कहा कि वह राजनीति में गरिमा और नैतिकता चाहते हैं।' उन्होंने अपनी ईमानदारी की 'अग्निपरीक्षा' देने का फैसला किया है। चड्ढा ने कहा कि नके पास कोई संपत्ति या अपना घर भी नहीं है। एक राष्ट्रीय पार्टी के संयोजक के रूप में वह सरकारी आवास के हकदार हैं। केंद्र को उन्हें यह देना चाहिए।
आप नेता ने कहा कि उम्मीद है कि हमें इसके लिए कानूनी लड़ाई नहीं लड़नी पड़ेगी। केजरीवाल ने नैतिकता के आधार पर इस्तीफा देने का फैसला किया है और वह अपना सरकारी आवास छोड़ देंगे। दिल्ली के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद अरविंद केजरीवाल 22 सितंबर को राष्ट्रीय राजधानी के जंतर-मंतर पर 'जनता की अदालत' करेंगे। इस दौरान वह लोगों को संबोधित भी करेंगे। दिल्ली के निवर्तमान मुख्यमंत्री उच्चतम न्यायालय के जमानत देने के आदेश के बाद पिछले सप्ताह तिहाड़ जेल से बाहर आये।
आप नेता गोपाल राय ने कहा कि पिछले 2 साल में अरविंद केजरीवाल ने बीजेपी की सभी साजिशों को नाकाम कर दिया और अब आमने-सामने की लड़ाई है। अगर अरविंद केजरीवाल को भारी बहुमत से मुख्यमंत्री बनाया जाए तो देश का सम्मान बढ़ेगा और साजिशकर्ताओं के सम्मान को ठेस पहुंचेगी। इसलिए सभी पदाधिकारियों को अरविंद केजरीवाल बनना होगा। गोपाल राय ने आगे कहा कि 22 सितंबर को जंतर-मंतर पर 'जनता की अदालत' लगेगी, जिसे अरविंद केजरीवाल संबोधित करेंगे। आप अपने बूथ-स्तरीय संगठन को मजबूत करने पर ध्यान केंद्रित करते हुए आगामी दिल्ली विधानसभा चुनावों में एक भयंकर लड़ाई के लिए तैयारी कर रही है।