राजस्थान में जारी सियासी संकट के बीच प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात की। बताया जा रहा है कि ये बैठक करीब 1.30 घंटे तक चली। बैठक के बाद उन्होंने ऐलान कर दिया कि वे कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं लड़ेंगे। इतना ही नहीं उन्होंने कहा कि राजस्थान में जो कुछ हुआ, उसके लिए वे काफी दुखी हैं, वे काफी आहत हुए हैं।
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरूवार को कहा कि जयपुर में विधायक दल की बैठक नहीं हो पाने की घटना के लिए उन्होंने पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से माफी मांगी है और अब वह अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं लड़ेंगे। सोनिया गांधी के आवास 10 जनपथ पर उनसे मुलाकात के बाद गहलोत ने यह भी कहा कि अब मुख्यमंत्री पद का फैसला कांग्रेस अध्यक्ष करेंगी।
अशोक गहलोत ने कहा, मैं कोच्चि में राहुल गांधी से मिला और उनसे कांग्रेस अध्यक्ष के लिए चुनाव लड़ने का अनुरोध किया। जब उन्होंने स्वीकार नहीं किया तो मैंने कहा कि मैं चुनाव लड़ूंगा लेकिन अब उस घटना (राजस्थान राजनीतिक संकट) के बाद मैंने चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया है।
I met Rahul Gandhi in Kochi & requested him to fight in the polls (for Congress President). When he didn't accept, I said I'll contest but now with that incident (#RajasthanPoliticalCrisis), I've decided not to contest the elections: Rajasthan CM Ashok Gehlot, in Delhi pic.twitter.com/2VnqTcQUAu
— ANI (@ANI) September 29, 2022
गहलोत ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘मैं 50 साल से कांग्रेस का वफादार सिपाही रहा हूं...दो दिन पहले की घटना से बहुत दुख हुआ है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘मैंने सोनिया जी से माफी मांगी है।’’
अशोक गहलोत ने कहा, 'कांग्रेस में मुझे बीते 50 सालों से सम्मान मिलता रहा है। हमेशा मुझ पर विश्वास करके जिम्मेदारी दी गई। इंदिरा गांधी, राजीव गांधी से लेकर आज तक मुझ पर भरोसा रखा गया। कांग्रेस महासचिव से लेकर तीसरी बार मुख्यमंत्री बनने तक का सफर हाईकमान के आशीर्वाद से ही रहा है।'
अशोक गहलोत ने कहा,‘‘विधायक दल की बैठक में एक लाइन का प्रस्ताव पारित कराना मेरी नैतिक जिम्मेदारी थी। मैं उसे करा नहीं पाया। इस माहौल में मैंने फैसला किया कि अब मैं अध्यक्ष का चुनाव नहीं लड़ूंगा।’’ मुख्यमंत्री पद पर बने रहने से जुड़े सवाल पर गहलोत ने कहा कि इस बारे में फैसला सोनिया गांधी करेंगी।