समाजवादी पार्टी (सपा) के नरेश अग्रवाल ने आरोप लगाया कि आम चुनाव के समय लोगों को बड़े-बड़े सब्जबाग दिखाए गए थे लेकिन अब उन्हें पूरा करने की दिशा में सरकार गंभीर नहीं दिख रही है। उन्होंने सांप्रदायिकता का जिक्र करते हुए कहा कि हाल में कई विवादित बयान दिए गए हैं जो सांप्रदायिकता को बढ़ावा देने वाले हैं। उन्होंने कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को कि स्पष्ट करना चाहिए कि सरकार महत्वपूर्ण है या भाजपा से जुड़े संगठन। उन्होंने जम्मू कश्मीर में भाजपा और पीडीपी के गठबंधन को अवसरवादिता की चरम सीमा करार दिया और कहा कि सरकार बनते ही राज्य के मुख्यमंत्री ने जो बयान दिया है, वह चिंताजनक है।
इससे पहले कांग्रेस सहित विभिन्न विपक्षी दल के सदस्यों ने मांग की कि प्रधानमंत्री को सदन में होना चाहिए था ताकि वे सदस्यों की बातों को सुनते। सदन में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद, नरेश अग्रवाल और जदयू नेता शरद यादव ने इस पर जोर दिया कि प्रधानमंत्री को इस समय चर्चा के समय सदन में आना चाहिए था।
उपसभापति पी जे कुरियन ने कहा कि आसन किसी खास मंत्री या प्रधानमंत्री को उपस्थित रहने के लिए नहीं कह सकता। उन्होंने कहा कि सदन में जो भी कहा जाता है, उससे उन्हें अवगत करा दिया जाता है।
चर्चा में भाग लेते हुए जदयू के केसी त्यागी ने किसानों और गांवों की समस्याओं का जिक्र किया और कहा कि सरकार को उनकी चिंता करनी चाहिए ताकि इस वर्ग की मुश्किलें दूर हो सकें। उन्होंने आरोप लगाया कि मौजूदा सरकार की विदेश नीति अमेरिकी प्रभाव में है। तृणमूल के नदीमुल हक कि राष्टपति अभिभाषण में राज्यों से जुड़े मुद्दों का कोई उल्लेख नहीं किया गया है। उन्होंने बजट पेश किये जाने के दिन पेट्रोलियम पदार्थो का मूल्य बढ़ाये जाने का भी उल्लेख किया।
चर्चा में हस्तक्षेप करते हुए शहरी विकास मंत्री एम वेंकैया नायडू ने कहा कि राष्ट्रपति अभिभाषण सरकार की नीतियों एवं कार्यक्रमों तथा देश को आगे ले जाने के बारे में उसके दृष्टिकोण का एक व्यापक दस्तावेज है। उन्होंने कहा कि आज सत्ता पक्ष में जितने अनुसूचित जाति, जनजाति और किसान वर्ग के लोग तथा महिलाएं हैं, उतने किसी अन्य दल में नहीं हैं।
नायडू ने कहा कि नरेन्द्र मोदी सरकार को लोगों ने स्पष्ट जनादेश दिया है। उन्होंने कहा कि इस सरकार ने सत्ता में आने के बाद कई महत्वपूर्ण कदम उठाये हैं जिनमें राज्यों को करों के मामले में अधिक अधिकार दिया जाना शामिल है। उन्होंने कहा कि सरकार की हर कार्यक्रम एवं हर नीति का मकसद लोगों को सशक्त बनाना है।