Advertisement

जनमत खरीद कर सरकार बनाने वालों को जनता पहले ही खारिज कर चुकी है: तरूण भनोत का बड़ा आरोप

मध्य प्रदेश के पूर्व वित्त मंत्री और कांग्रेस के कद्दावर उम्मीदवार तरुण भनोत ने प्रदेश की शिवराज सिंह...
जनमत खरीद कर सरकार बनाने वालों को जनता पहले ही खारिज कर चुकी है: तरूण भनोत का बड़ा आरोप

मध्य प्रदेश के पूर्व वित्त मंत्री और कांग्रेस के कद्दावर उम्मीदवार तरुण भनोत ने प्रदेश की शिवराज सिंह चौहान को खरीदी हुई सरकार करार दिया और कहा कि जनमत खरीद कर सरकार बनाने वाले इन चेहरों से विधानसभा चुनाव पर कोई फर्क नहीं पड़ेगा।

भनोत ने कहा, ‘‘ पिछले चुनाव में ही मध्य प्रदेश की जनता ने मोदीजी (प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी) और शिवराज सिंह जी के चेहरों को खारिज कर दिया था। यह तो खरीदी हुई सरकार है।’ उन्होंने 2020 में भाजपा द्वारा मध्य प्रदेश में कमलनाथ के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार को सत्ता से बेदखल किए जाने के संदर्भ में यह आरोप लगाया।

उनका मुकाबला इस बार भाजपा के चार बार के सांसद राकेश सिंह से है। लेकिन भनोत की नजर न दंगल में उनके मुकाबिल खड़े उम्मीदवार पर है और न ही उन ‘चेहरों’ पर जिनके नाम पर वह वोट मांग रहा है। उनकी नजर तो सीधे ‘जनता’ और अपने ‘कर्म’ पर है।

भनोत अपने ‘कर्म’ पर भरोसा जताने के साथ ही इस बार दावा कर रहे हैं कि उनके क्षेत्र की जनता काम देखकर अपना प्रतिनिधि चुनती है। इस सीट पर लगातार दो बार भाजपा को पटखनी दे चुके भनोत इस दफा जीत की हैट्रिक की उम्मीद लगाए हुए हैं।

क्षेत्र के विभिन्न इलाकों में प्रचार करने और एक कार्यकर्ता के आवास पर दोपहर का भोजन करने के बाद भनोत ने पीटीआई भाषा को दिए विशेष साक्षात्कार में कहा, ‘यह महत्वपूर्ण नहीं है कि चुनाव कौन किससे लड़ रहा है। वह सांसद हैं या मैं विधायक हूं, यह भी महत्वपूर्ण नहीं है। सांसद वह अपनी इच्छा से या खुद सर्टिफिकेट लेकर नहीं बनें। जनता ने उन्हें चुना है। जनता ने मुझे भी विधायक के रूप में चुना। जनता काम देखकर अपना प्रतिनिधि चुनती है।’

एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा, ‘मेरे लिए यह कोई चुनौती नहीं है कि सामने कौन चुनाव लड़ रहा है। मैंने जो कार्य किए हैं और मेरे जो कर्म रहे हैं, वह महत्वपूर्ण हैं। मेरे क्षेत्र की जनता के लिए हमारा आचरण, आचार विचार क्या रहा, उनके सुख-दुख में और उनके जो महत्वपूर्ण कार्य थे, उसे लेकर हमारा रवैया क्या रहा , यह मायने रखता है।’

यह पूछे जाने पर कि उनका मुकाबला सिर्फ एक सांसद से नहीं है बल्कि भाजपा के उस तंत्र के साथ है जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के चेहरे भी हैं, भनोत ने कहा ‘चेहरों’ से उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता।

 

उन्होंने कहा, ‘पिछले चुनाव में ही मध्य प्रदेश की जनता ने मोदीजी और शिवराज सिंह जी के चेहरों को खारिज कर दिया था। यह तो खरीदी हुई सरकार है। जनमत खरीद कर सरकार बनाने वाले इन चेहरों से चुनाव पर कोई फर्क नहीं पड़ता।’

भनोत ने, ‘मुझे अपने परिवार पर पूरा भरोसा है और मेरा परिवार जबलपुर पश्चिम विधानसभा क्षेत्र की जनता है। मुझे इस जनता पर विश्वास है कि उसका आशीर्वाद पुनः मुझे मिलेगा।’

चुनाव में विभिन्न दलों की ओर से मुफ्त योजनाओं की घोषणाओं के बारे में मध्य प्रदेश के पूर्व वित्त मंत्री ने कहा कि हर किसी का सोचने और काम करने का अपना तरीका होता है। उन्होंने आरोप लगाया, ‘भाजपा को 20 साल मिले राज्य की अर्थव्यवस्था सुधारने के लिए लेकिन उन्होंने इस पर ध्यान नहीं दिया। और अब चुनाव का समय है तो वह झूठे वादे कर रही है।’

भनोत ने कहा कि कांग्रेस की सोच अलग है और उसने जो वचन पत्र तैयार किया है उसे वह ‘मुफ्त की रेवड़ी’ नहीं मानते। कांग्रेस ने अपने वचन पत्र में महिलाओं को 1,500 रुपये महीना, पांच सौ रुपये में रसोई गैस सिलेंडर, 100 यूनिट बिजली माफी-200 यूनिट हाफ, पांच हार्सपावर कृषि पंप पर बिजली निशुल्क, पुराने बिलों की माफी, स्कूली बच्चों को पांच से डेढ़ हजार तक छात्रवृत्ति, किसानों को दो लाख रुपये तक कर्ज माफी, युवाओं को डेढ़ से तीन हजार रुपये तक प्रोत्साहन राशि, सामाजिक सुरक्षा पेंशन 1200 रुपये करने सहित कई घोषणाएं की हैं। उन्होंने कहा, ‘अगर सरकार जनता के बारे में नहीं सोचेगी जिसने सरकार बनाई है तो फिर सरकार किस काम की है और किसके लिए है।’

पूर्व वित्त मंत्री ने कहा, ‘हम लोगों को महंगाई से निजात दिलाएंगे, युवकों और युवतियों को रोजगार देंगे, प्रोत्साहन देंगे, छोटे-छोटे हमारे जो व्यापारी हैं और जो परेशान हैं, उनको राहत पहुंचाएंगे। हमारे किसान भाई, हमारे मजदूर वर्ग परेशान हैं, यहां तक की सरकारी कर्मचारी भी परेशान हैं। हम इन्हें विभिन्न योजनाओं के माध्यम से राहत पहुंचाएंगे।’

उन्होंने दावा किया कि इन योजनाओं को गहन विचार विमर्श और सोच समझ कर तैयार किया गया है ताकि मध्य प्रदेश की अर्थव्यवस्था भी ठीक रहे और खजाना भी दुरुस्त रहे।

मध्य प्रदेश की 230 सदस्यीय विधानसभा के लिए 17 नवंबर को मतदान होना है। जबलपुर दक्षिण विधानसभा सीट पर अभी तक कांग्रेस और भाजपा के बीच सीधा मुकाबला रहा है। 1957 से 1985 के बीच इस सीट पर हुए सभी चुनावों में कांग्रेस ने अपना दबदबा बरकरार रखा था।

1990 में भाजपा की जयश्री बनर्जी ने इस परंपरा को तोड़ा। 2008 तक इस सीट पर भाजपा का परचम लहराया लेकिन 2013 के चुनाव में कांग्रेस ने फिर इस सीट पर वापसी की और भनोत पहली बार विधानसभा पहुंचे। उन्होंने 2018 में लगातार दूसरी बार यहां से जीत हासिल की और अब हैट्रिक लगाने के प्रयास में हैं।

 

भनोत पंजाबी हिन्दू समुदाय से ताल्लुक रखते हैं। क्षेत्र में इस समुदाय के करीब 15,000 मतदाता हैं। अब तीन दिसंबर के नतीजे ही बताएंगे कि अपनी हैट्रिक से वह राकेश सिंह के मंसूबों पर कितना पानी फेर पाएंगे।

अब आप हिंदी आउटलुक अपने मोबाइल पर भी पढ़ सकते हैं। डाउनलोड करें आउटलुक हिंदी एप गूगल प्ले स्टोर या एपल स्टोर से
Advertisement
Advertisement
Advertisement
  Close Ad