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देश में लोगों को ‘तानाशाही’ के खिलाफ लड़ना होगा: 'आप' नेता मनीष सिसोदिया

आम आदमी पार्टी (आप) के वरिष्ठ नेता मनीष सिसोदिया ने शनिवार को पार्टी कार्यकर्ताओं और लोगों से देश में...
देश में लोगों को ‘तानाशाही’ के खिलाफ लड़ना होगा: 'आप' नेता मनीष सिसोदिया

आम आदमी पार्टी (आप) के वरिष्ठ नेता मनीष सिसोदिया ने शनिवार को पार्टी कार्यकर्ताओं और लोगों से देश में तानाशाही के खिलाफ लड़ने का आह्वान किया। दिल्ली आबकारी नीति मामले में सिसोदिया को कल ही उच्चतम न्यायालय से जमानत मिली है।

सिसोदिया ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधते हुए कहा कि ये लोग संविधान से ज्यादा ताकतवर नहीं हैं। सिसोदिया ने यहां पार्टी मुख्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि हर व्यक्ति को इस ‘‘तानाशाही’’ के खिलाफ लड़ना होगा जो न केवल नेताओं को जेल में डाल रही है बल्कि नागरिकों को भी परेशान कर रही है।

आम आदमी पार्टी के नेता ने दावा किया कि जब वे जेल में थे तो उन्हें जमानत मिलने की चिंता नहीं थी लेकिन उन्हें यह देखकर पीड़ा हुई कि व्यापारियों को ‘‘फर्जी मामलों में सलाखों के पीछे डाला दिया गया है वो भी सिर्फ इसलिए कि उन्होंने भाजपा को चंदा नहीं दिया।’’

अपने संबोधन में सिसोदिया ने पार्टी प्रमुख एवं दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का जिक्र किया और उन्हें देश में ईमानदारी का प्रतीक करार दिया। केजरीवाल भी इसी मामले में तिहाड़ जेल में बंद है।

सिसोदिया ने कहा कि केजरीवाल के काम को बदनाम करने की साजिशें रची जा रही हैं और अगर विपक्ष के नेता इस तानाशाही के खिलाफ एकजुट हो जाएं तो केजरीवाल 24 घंटे में जेल से बाहर आ जाएंगे।

सिसोदिया ने जमानत मिलने के फैसले पर कहा कि कल उच्चतम न्यायालय ने संविधान की शक्ति का इस्तेमाल कर ‘‘तानाशाही को कुचल दिया’’।

पूर्व उप मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्हें उम्मीद थी कि सात-आठ महीने में न्याय मिल जाएगा लेकिन इसमें 17 महीने लग गए, अंतत: सत्य की जीत हुई।

विनेश फोगाट के मामले पर महिला पहलवान का नाम लिए बिना भाजपा पर निशाना साधते हुए सिसोदिया ने कहा कि उन्होंने इसके नेता के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया और लोगों ने देखा कि ओलंपिक में क्या हुआ।

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