मुख्यमंत्री ने मंत्रिमण्डल की बैठक के बाद संवाददाताओं से बातचीत में कहा ‘‘गाय के मामले में भाजपा का रवैया सभी लोग जानते हैं। गाय गांवों में हर किसान के पास होती है। गाय हमारे यहां भी मिल जाएगी लेकिन बताइये भाजपा में आखिर किसके पास गाय है।
उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा गोरक्षा की आड़ में समाज में अलगाव लाती है। वह विकास की बहस से जनता का ध्यान भटकाना चाहती है इसलिए गाय का मामला छेड़ देती है। अखिलेश ने कहा कि गाैरक्षकों का मामला भले उनकी समझ में देर से आया लेकिन आया तो सही। गौरक्षकों के व्यवहार पर जब उन्हें अपना नुकसान खुद समझ में आने लगा तब उन्होंने बोलना शुरू किया। उन्होंने तंज कसा कि अगर भाजपा कहेे तो हम गाय को पेंशन देना शुरू कर दें।
अखिलेश ने कहा कि ‘उत्तर प्रदेश को केन्द्र से जो मिलना चाहिये, वह नहीं मिला। तमाम योजनाओं में केन्द्र से मिलने वाला धन अब तक नहीं मिला है।’ आरक्षण के बारे में पूछे गये एक सवाल पर मुख्यमंत्री ने कहा कि आरक्षण का विषय बड़ा और महत्वपूर्ण है। संविधान आर्थिक रूप से पिछड़ों को सम्मान का अधिकार देता है।