- वीरेंद्र सिंह रावत
इस घटना से योगी सरकार की बहुत किरकिरी हो रही है। जिसे देखते हुए कई बड़े अधिकारियों के ऊपर सख्त कार्यवाही की तैयारी है, वहीं विपक्ष नें इस मुद्दे को जोर-शोर से उठाना शुरू कर दिया है।
प्रमुख विपक्षी दल समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भी इस मुद्दे पर योगी सरकार पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने कहा की योगी सरकार का पूरा तंत्र उनके विधायकों को तोड़ने और उन्हें डराने में इस्तेमाल हो रहा है, इसलिए सरकार के पास जनता से सम्बंधित विषयों के लिए पर्याप्त समय ही नहीं है और न ही उसे चिंता है।
इस बीच, सपा राज्य सभा सदस्य राम गोपाल यादव नें भी योगी सरकार को घेरा और कहा है कि मुख्यमंत्री योगी स्वयं कई बार गोरखपुर का दौरा कर चुके हैं, फिर भी जमीनी स्तर पर कोई बदलाव नहीं हुआ और न ही गोरखपुर में व्याप्त कार्यप्रणाली दुरुस्त हो पाई।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद के नेतृत्व में पार्टी के एक दल ने मेडिकल कॉलेज का दौरा कर हालत का जायजा लिया। इस दल में प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष राज बब्बर, पूर्व केंद्रीय मंत्री आर पी एन सिंह एवं राज्य सभा संसद प्रमोद तिवारी भी शामिल थे। बड़ी संख्या में बच्चों की मौत को आजाद ने योगी सरकार की विफलता करार देते हुए प्रदेश के स्वस्थ्य मंत्री समेत सभी सम्बंधित अधिकारियों का इस्तीफा मांगा है।
बहुजन समाज पार्टी की अध्यक्ष और प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने योगी सरकार पर हमला बोलते हुए सरकार से सम्बंधित अधिकारियों पर सख्त कार्यवाही के साथ साथ पीड़ित परिवारों को न्याय और रहत दिलाने की मांग करी है।
#GorakhpurTragedy BJP can purchase MPs/MLAs/CMs with crores of money but they can't provide oxygen to its citizens.#Gorakhpur #BSP pic.twitter.com/4nqRpVmn77
— Bahujan Samaj Party (@BspUp2017) August 12, 2017
जांच रिपोर्ट का इंतजार, कार्रवाई की तैयारी
एक निजी कंपनी द्वारा ऑक्सीजन आपूर्ति का भुगतान न किये जाने के चलते, बीते ब्रहस्पतिवार को ऑक्सीजन की आपूर्ति अचानक रोक ली गयी थी, जिसके चलते करीब 36 बच्चों कि मौत हो गयी थी।
हालांकि, योगी सरकार दावा कर रही है कि बच्चों की मौत ऑक्सीजन आपूर्ति ने सम्बंधित नहीं है। बहरहाल, राज्य सरकार नें इस मामले में जांच बैठा दी है और रिपोर्ट आने के उपरांत सख्त कार्यवाही होना निश्चित है।
गोरखपुर में हुई इन मौतों पर इसलिए भी सवाल उठ रहा है क्योंकि योगी खुद भी गोरखपुर से मौजूदा सांसद हैं, और पिछले कई सालों से संसद में इस पूर्वी उत्तर प्रदेश के प्रमुख शहर का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं।
अभी कुछ दिन पहले ही, योगी गोरखपुर के दौरे पर थे, फिर भी अधिकारी ऑक्सीजन आपूर्ति के बकाया भुगतान सम्बंधित कोई बात उनके संज्ञान में नहीं लाये, जबकि उक्त कंपनी ने कई पत्र इस मामले में जमेडिकल कॉले प्रशासन को पहले ही प्रेषित कर दिए थे।
अफसरों का फटकार
मिली जानकारी के अनुसार, शुक्रवार रात मुख्यमंत्री योगी नें अपने अधिकारियों को इस सम्बन्ध में फटकार लगायी थी कि जब वह स्वयं गोरखपुर गए थे, तो यह बात उनसे क्यों छुपायी गई। इस बीच ऑक्सीजन आपूर्ति शुचारू करने के लिए कदम उठा लिए गए हैं और कंपनी का भुगतान करने की प्रक्रिया शुरू हो गई है।
प्रदेश के स्वस्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह नें विरोधियों पर मौत पर सियासत करने का आरोप लगाया है। वह स्वयं गोरखपुर में रह कर मामले पर नजर रखे हुए है। उधर केंद्र सरकार ने भी प्रदेश सरकार से इस सम्बन्ध में रिपोर्ट तलब करी है।