तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी ने इस बात पर बल दिया कि पुलिस को न्याय के लिए उसके पास आने वालों के प्रति सहानुभूति रखनी चाहिए और अपराधियों के साथ सख्ती से पेश आना चाहिए।
राज्य में कांग्रेस सरकार के एक साल पूरे होने पर शुक्रवार को गृह विभाग द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में उन्होंने ‘मित्रवत पुलिस प्रक्रिया’ का जिक्र करते हुए कहा कि इस अवधारणा का मतलब हत्यारों, आर्थिक अपराधियों और जमीन हड़पने वालों के प्रति नरमी वाला व्यवहार करना नहीं है।
उन्होंने कहा, ‘‘अपराधियों में पुलिस का डर होना चाहिए। जमीन हड़पने वाले, मादक पदार्थ की तस्करी में संलिप्त अपराधी, जलाशयों पर अवैध कब्जा करने वाले और आपराधिक मानसिकता वाले लोगों में पुलिस का डर होना चाहिए। ऐसे लोगों में डर पैदा करें और पीड़ितों (न्याय की मांग करने वाले) के साथ दोस्ताना व्यवहार करें। तब पुलिस के प्रति सम्मान बढ़ता है।’’
एक पुलिस अधिकारी के काम में बाधा डालने, धमकाने और अपशब्द कहने के आरोप में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के विधायक पी कौशिक रेड्डी की गिरफ्तारी का स्पष्ट संदर्भ देते हुए उन्होंने कहा कि पुलिस को उन लोगों के साथ सख्ती से पेश आना चाहिए जो उसके साथ अपमानजनक व्यवहार करते हैं।
उन्होंने कहा कि पुलिस को आम लोगों के प्रति सहानुभूति रखते हुए नियमों के अनुसार काम करना चाहिए, चाहे अपराधी कितना भी प्रभावशाली क्यों न हो।
उन्होंने कहा कि सरकार मादक पदार्थ तस्करी और साइबर अपराधों से संबंधित मामलों का निपटारा करने के लिए त्वरित अदालत स्थापित करने पर विचार कर रही है।
इस अवसर पर, मुख्यमंत्री ने ट्रांसजेंडर समुदाय के उन लोगों को नामांकन पत्र सौंपे, जिनका चयन यातायात प्रबंधन के लिए अस्थायी तौर पर किया गया है।