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गोपाल राय पर ‘विश्वास’ का तंज, ‘नए-नए गुप्ताओं का आनंद लें, मेरे शव के साथ ना करें छेड़छाड़’

आम आदमी पार्टी के द्वारा दिल्ली के तीन राज्य सभा सीटों के लिए उम्मीदवार प्रस्तावित करने के बाद हर रोज...
गोपाल राय पर ‘विश्वास’ का तंज, ‘नए-नए गुप्ताओं का आनंद लें, मेरे शव के साथ ना करें छेड़छाड़’

आम आदमी पार्टी के द्वारा दिल्ली के तीन राज्य सभा सीटों के लिए उम्मीदवार प्रस्तावित करने के बाद हर रोज हाई वोल्टेज सियासी ड्रामा देखने को मिल रहा है। राज्यसभा नहीं भेजे जाने से नाराज आप नेता और कवि कुमार विश्वास और आप के कई वरिष्ठ नेताओं के बीच जुबानी जंग चरम पर है।

अब कुमार विश्वास ने गोपाल राय पर तंज कसते हुए कहा, “पांच राज्यों के प्रभारी, विधायक और दिल्ली के मंत्री जो नौ पदों पर बैठे हैं उनसे मेरा अनुरोध है कि नए-नए कांग्रेस और भाजपा से आए हुए जो दो गुप्तास हैं, उनके योगदान का कुछ दिन आनंद लें, मेरे शव के साथ छेड़छाड़ ना करें।”

दरअसल कुमार विश्वास का यह बयान गोपाल राय के आरोपों पर पलटवार के तौर पर आया। गोपाल राय ने बागी नेता कुमार विश्वास पर गुरुवार को प्रहार करते हुए आरोप लगाया कि नगर निगम चुनावों के बाद दिल्ली में अरविंद केजरीवाल की सरकार गिराने का षड्यंत्र रचने के केंद्र में कुमार विश्वास थे।

राज्यसभा का टिकट नहीं मिलने के बाद केजरीवाल सरकार के खिलाफ क्षोभ जताने के एक दिन बाद कवि-नेता कुमार पर पार्टी ने जोरदार पलटवार किया। जिसके बाद ‘आप’ के दिल्ली संयोजक गोपाल राय ने दावा किया कि पिछले वर्ष अप्रैल में एमसीडी चुनावों के बाद सरकार को गिराने का प्रयास किया गया और उस षड्यंत्र के केंद्र में कुमार विश्वास थे।

पीटीआई के मुताबिक, गोपाल राय ने फेसबुक के लाइव सेशन में कहा, इस बारे में कुछ विधायकों के साथ अधिकतर बैठकें उनके आवास पर हुईं। कपिल मिश्रा उसका हिस्सा थे और बाद में उन्हें कैबिनेट से हटा दिया गया। हालांकि राय के आरोपों पर कुमार विश्वास ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी।

‘आप’ के नेता कुमार विश्वास ने बुधवार को आरोप लगाए थे कि केजरीवाल के निर्णयों के बारे में सच कहने के लिए उन्हें दंडित किया गया और उन्होंने उनकी शहादत को स्वीकार कर लिया है।

सोशल मीडिया सेशन के दौरान राय ने एक वीडियो का हवाला दिया, जिसे विश्वास ने जारी किया था और इसमें भ्रष्टाचार के मुद्दे पर उन्होंने केजरीवाल सरकार पर परोक्ष प्रहार किया था। राय ने कहा कि वीडियो के माध्यम से विश्वास ने निगम चुनावों में आप की संभावनाओं को खराब करने का प्रयास किया। स्थानीय चुनाव में पार्टी भाजपा से हार गई थी।

राय ने कहा, वह ऐसे व्यक्ति हैं जिन्होंने हर संभव सार्वजनिक मंच से पार्टी पर प्रहार किए। क्या इस तरह के व्यक्ति को राज्यसभा भेजा जा सकता है?

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