महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे गुट ने राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी के फैसले को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट में एक और याचिका दाखिल की है। न्यूज एजेंसी एएनआई की एक रिपोर्ट के मुताबिक उद्धव ठाकरे कैंप ने सर्वोच्च न्यायालय में एक और याचिका दाखिल की है। इसमें गवर्नर के निमंत्रण को चुनौती दी गई है।
बता दें कि 30 जून को महाराष्ट्र के राज्यपाल ने अपने फैसले में शिवसेना के एकनाथ शिंदे गुट और भारतीय जनता पार्टी को सरकार बनाने के लिए निमंत्रण दिया था। सदन के इस दो दिवसीय सत्र में शिवसेना के बागी नेताओं ने बीजेपी समर्थित नए स्पीकर का चुनाव किया था। साथ ही, एकनाथ शिंदे और देवेंद्र फडणवीस की साझा सरकार को फ्लोर टेस्ट के दौरान समर्थन भी दिया था।
Uddhav Thackeray-led faction moves Supreme Court challenging the Maharashtra Governor’s June 30th decision to invite Eknath Shinde to form government in Maharashtra and election of the Speaker in the Assembly. pic.twitter.com/UZt6zNuZ1J
— ANI (@ANI) July 8, 2022
उद्धव ठाकरे खेमे ने 30 जून को एकनाथ शिंदे को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित करने के महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में एक नई याचिका दायर की है। यह कदम शिंदे द्वारा राज्य के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेने के एक सप्ताह से अधिक समय बाद आया है।
बता दें कि उद्धव ठाकरे गुट के द्वारा सुप्रीम कोर्ट में कई याचिकाएं दाखिल की गई हैं। सभी मामलों पर 11 जुलाई पर एकसाथ सुनवाई होनी है। हाल ही में सुप्रीम कोर्ट मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में शिवसेना के बागी विधायकों के गुट के नए पार्टी सचेतक (व्हिप) को मान्यता देने के महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष के आदेश के खिलाफ उद्धव ठाकरे गुट की याचिका पर 11 जुलाई को सुनवाई करने के लिए सोमवार को सहमत हो गया।
न्यायमूर्ति इंदिरा बनर्जी और न्यायमूर्ति जे.के. माहेश्वरी की अवकाशकालीन पीठ ने कहा कि नई याचिका की सुनवाई भी पहले से लंबित अन्य मामलों के साथ ही 11 जुलाई को समान पीठ की ओर से की जाएगी। उद्धव ठाकरे गुट की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता ए. एम. सिंघवी ने कहा, ‘सचेतक को मान्यता देना अध्यक्ष के अधिकार क्षेत्र में नहीं आता। यह इस अदालत के समक्ष कार्यवाही की यथास्थिति को बदल रहा है। अध्यक्ष ने आधी रात को नए सचेतक की नियुक्ति की।’