उत्तर प्रदेश में सत्तारूढ़ समाजवादी पार्टी (सपा) में जारी सत्ता के घमासान के बीच मुख्यमंत्री अखिलेश यादव आज अचानक राजभवन पहुंचे। राजनीतिक हलकों में अटकलें तेज करने वाले घटनाक्रम में मुख्यमंत्री अपने आवास पर जारी वरिष्ठ नेताओं की बैठक को बीच में छोड़कर राज्यपाल राम नाईक से मुलाकात करने पहुंचे। मुख्यमंत्री के अचानक राजभवन पहुंचने से हर कोई हैरान रह गया। हालांकि सूत्रों के मुताबिक अखिलेश ने राज्यपाल से मिलने के लिए पहले ही समय मांगा था। राजभवन सूत्रों के अनुसार के इस मुलाकात में अखिलेश ने राज्यपाल नाईक को राज्य के मौजूदा राजनीतिक हालात से अवगत कराया। वहीं पार्टी सूत्रों ने बताया कि मुख्यमंत्री संभवत: अपने मंत्रिमंडल में खाली चार पदों पर नए मंत्रियों की नियुक्ति के लिए राज्यपाल से मंत्रणा करने गए थे। अखिलेश ने गत रविवार को अपने चाचा शिवपाल सिंह यादव तथा उनके करीबी माने जाने वाले ओम प्रकाश सिंह, नारद राय तथा सैयदा शादाब फातिमा को मंत्रिमण्डल से बर्खास्त कर दिया था।
इसके पूर्व, सपा के प्रदेश अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव ने मुख्यमंत्री के करीबी माने जाने वाले वन राज्यमंत्री तेज नारायण पाण्डेय उर्फ पवन पाण्डेय को पार्टी से छह साल के लिए निकालने का एलान किया। साथ ही उन्होंने मुख्यमंत्री को पत्र लिख पांडे को मंत्री पद से बर्खास्त करने के लिए भी कहा। इस घटनाक्रम से एक बार फिर इशारा मिला है कि समाजवादी परिवार में सबकुछ ठीक नहीं है। हालांकि मुलायम और शिवपाल कह रहे हैं कि पार्टी और परिवार में सबकुछ ठीक है। इस बीच, सपा में आज भी बैठकों का दौर जारी रहा। मुख्यमंत्री ने जहां तीन नवंबर को शुरू होने वाली अपनी विकास रथ यात्रा की तैयारियों के मुख्य मुद्दे को लेकर विधायकों तथा वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठक की। वहीं, सपा मुखिया मुलायम ने भी एक बैठक बुलाई, जिसमें शिवपाल, नारद राय और ओमप्रकाश सिंह शामिल हुए।