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स्थानीय चुनाव अकेले लड़ने के मुद्दे पर पवार ने कहा, ‘उम्मीद है उद्धव कोई अतिवादी रुख नहीं अपनाएंगे’

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र) के अध्यक्ष शरद पवार ने शुक्रवार को उम्मीद जताई कि शिवसेना...
स्थानीय चुनाव अकेले लड़ने के मुद्दे पर पवार ने कहा, ‘उम्मीद है उद्धव कोई अतिवादी रुख नहीं अपनाएंगे’

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र) के अध्यक्ष शरद पवार ने शुक्रवार को उम्मीद जताई कि शिवसेना (उबाठा) प्रमुख उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र के आगामी स्थानीय निकाय में अपने संगठन के अकेले चुनाव लड़ने के संकेत देने के बाद कोई अतिवादी रुख नहीं अपनायेंगे।

पवार ने कहा कि यद्यपि ठाकरे ने स्थानीय निकाय चुनाव लड़ने पर अपनी राय व्यक्त की है, विपक्षी महा विकास आघाडी (एमवीए) के अन्य घटक महसूस करते हैं कि इस मुद्दे को सहयोगियों के बीच सौहार्दपूर्ण ढंग से हल किया जाना चाहिए। एमवीए में कांग्रेस, राकांपा (शरदचंद्र) और शिवसेना (उबाठा) शामिल हैं।

कोल्हापुर शहर में पत्रकारों से बात करते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार द्वारा दावोस में विश्व आर्थिक मंच की बैठक के दौरान भारतीय कंपनियों के साथ समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर करना और उन्हें निवेश के रूप में पेश करना भ्रामक है।

ठाकरे की टिप्पणी के बारे में पूछे जाने पर पवार ने कहा, ‘‘उद्धव ठाकरे ने पहले स्थानीय निकायों के चुनाव अकेले लड़ने की बात कही थी। दो दिन पहले उन्होंने मुझसे इस संबंध में विस्तृत चर्चा की थी और कल (बृहस्पतिवार) उन्होंने शिवसेना की ओर से आयोजित सभा के दौरान जो कहा, वह उनकी राय को दर्शाता है। लेकिन मुझे नहीं लगता कि वह कोई अतिवादी रुख अपनाएंगे।’’

मुंबई में बृहस्पतिवार को शिवसेना के संस्थापक बाल ठाकरे की 99वीं जयंती पर कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए, ठाकरे ने कहा कि वह पार्टी कार्यकर्ताओं से बात कर रहे हैं और वे चाहते हैं कि पार्टी आगामी स्थानीय निकाय के चुनाव स्वतंत्र रूप से लड़े।

पूर्व मुख्यमंत्री ने कार्यकर्ताओं से कहा, ‘‘क्या आप गद्दारों को उनकी जगह दिखाने के लिए तैयार हैं? चुनाव की घोषणा होनी अभी बाकी है। मुझे अपनी तैयारी देखने दीजिए और मैं आपकी इच्छा के अनुसार निर्णय लूंगा। मैं उचित समय पर निर्णय लूंगा।’’

हिंदुत्व के मुद्दे पर उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना की ठाकरे की आलोचना के बारे में पूछे जाने पर पवार ने कहा कि उनके सहयोगी बार-बार इस बात पर जोर देते रहे हैं कि उनका (शिंदे गुट का) हिंदुत्व वास्तविक नहीं है, और उन्होंने मुंबई कार्यक्रम के दौरान केवल उस दावे को दोहराया है।

उन्होंने जोर देकर कहा, ‘‘दोनों (शिवसेना) गुटों ने बालासाहेब ठाकरे की जयंती के अवसर पर कार्यक्रम आयोजित किए, प्रत्येक गुट ने उनकी विरासत पर अपना दावा जताया। लेकिन अगर लोगों की उपस्थिति पर विचार किया जाए, तो ठाकरे की रैली में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए।’’

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