भारतीय महिला हॉकी टीम अगले महीने जापान में होने वाले एशिया कप की तैयारियों को मज़बूत करने के इरादे से सोमवार रात अपने यूरोप दौरे के लिये रवाना हो गई। इस दौरे पर महिला हॉकी टीम पहली बार जूनियर पुरूष टीम के खिलाफ दो मैच खेलेगी।
भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) के बेंगलुरू स्थित सेंटर में तीन सप्ताह तक अभ्यास करने के बाद 18 सदस्यीय महिला टीम बेंगलुरू के केम्पेगौड़ा अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे से यूरोप दौरे के लिये रवाना हुई। टीम की कमान स्ट्राइकर रानी को सौंपी गयी है जबकि गोलकीपर सविता के कंधों पर उपकप्तानी का भार रहेगा।
भारतीय टीम यूरोप दौरे पर चार मैच खेलेगी जिसमें उसके दो मैच हॉलैंड में खेले जाएंगे। महिला टीम का पहला मैच 8 सितंबर और तीसरा मैच 15 सितंबर को लेडीज़ डेन बॉश के साथ खेला जाएगा। इसके अलावा भारतीय महिलाओं को इस दौरे पर पुरूष टीम के साथ भी खेलने का मौका मिलेगा जिसमें वह बेल्जियम की जूनियर पुरूष टीम के साथ 11 और 18 सितंबर को एंटवर्प में मैच खेलेगी।
कप्तान रानी रामपाल ने रवाना होने से पहले कहा" यह पहला मौका है जब हमें जूनियर पुरूष राष्ट्रीय टीम के साथ खेलने का मौका मिलेगा। हमने अपने शिविर में राष्ट्रीय जूनियर पुरूष टीम के साथ काफी अभ्यास किया था और हमारी टीम अब बेल्जियम के जूनियर पुरूष खिलाड़ियों के साथ खेलने को लेकर उत्साहित है।" उन्होंने कहा" बेल्जियम की जूनियर टीम विश्वकप उपविजेता है और निश्चित ही हमारा मैच उनके साथ काफी चुनौतीपूर्ण होगा। हमारे लिये अगले महीने जापान में होने वाले एशिया कप से पहले यूरोप का दौरा काफी महत्वपूर्ण होगा जहां टीम खिताब के इरादे से उतरेगी।"
महिला टीम के कोच शुअर्ड मरीने ने कहा, "पुरूष टीम के साथ खेलने का इरादा महिलाओं को मानसिक रूप से मजबूत बनाना है क्योंकि उनके साथ मैच काफी तेज़ होगा। हमने कैंप में भी इसका अभ्यास किया है और लड़कियों ने इसके लिये काफी मेहनत की है। एशिया कप काफी महत्वपूर्ण है।"