मशहूर समाचार वेबसाइट बजफीड न्यूज ने मंगलवार को प्रसारित एक रिपोर्ट में कहा कि पॉवेल ने यह बात 17 जून को एक पत्रकार एमिली माइलर को लिखे एक निजी ईमेल में कही थी। ट्रंप को एक राष्ट्रीय शर्म और अंतरराष्ट्रीय तौर पर अस्पृश्य बताने के अलावा पॉवेल ने कहा था कि रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार खुद को तबाह करने के रास्ते पर बढ़ रहे हैं और डेमोक्रेट्स द्वारा उनपर हमला किए जाने की भी जरूरत नहीं है। बीते 21 अगस्त के एक अन्य ईमेल में सेवानिवृत्त सैन्य जनरल पॉवेल ने ट्रंप की उस नस्ली मुहिम को लेकर हमला बोला था, जिसमें उन्होंने कहा था कि बराक ओबामा का जन्म अमेरिका में नहीं हुआ था।
बजफीड की खबर के अनुसार, पॉवेल ने लिखा, हां, पूरा बर्थर मूवमेंट नस्ली था। 99 प्रतिशत लोग यही मानते हैं। जब ट्रंप इस बात को कायम नहीं रख सके तो उन्होंने कहा कि वह यह भी देखना चाहते हैं कि प्रमाणपत्र पर उनके मुस्लिम होने का जिक्र है या नहीं। पॉवेल ने बजफीड को लिखा, मुझे इसपर और ज्यादा टिप्पणी नहीं करनी। मैं इससे इंकार नहीं कर रहा हूं। दिसंबर 2015 में सीएनएन के प्रस्तोता फरीद जकारिया को लिखे एक अन्य ईमेल में उन्होंने चेताया था कि ट्रंप को अत्यधिक प्रचार न दिया जाए।