ईरान और पश्चिमी देशों के बीच 12 साल से चल रहे गतिरोध में इसे बड़ी सफलता माना जा सकता है। पश्चिमी देशों को आशंका रही है कि तेहरान एक परमाणु बम बनाना चाहता है।
यूरोपीय संघ में विदेश नीति प्रमुख फेडिका मोघरिनी ने आठ दिन की वार्ता के बाद कहा कि ईरान ने कठिन पाबंदियों को हटाने के बदले परमाणु कार्यक्रम पर लगाम कसने पर सहमति जता दी है।
आज समझौते की जिस रूपरेखा पर सहमति बनी उसे 30 जून तक एक व्यापक समझौते के तौर पर अंतिम रूप दिया जाएगा।
अमेरिकी विदेश मंत्री जॉन केरी ने इसे बड़ा दिन बताया वहीं ईरान के राष्ट्रपति हसन रूहानी ने कहा कि पूर्ण समझौते का मसौदा तैयार करने की 30 जून की समयसीमा के मद्देनजर इस काम को तत्काल शुरू किया जाएगा।
केरी ने ट्वीट किया कि वैश्विक महाशक्तियों और ईरान के पास अब परमाणु कार्यक्रम पर प्रमुख मुद्दों के समाधान के मानदंड हैं। अंतिम समझौते पर काम करने के लिए जल्दी पहल करेंगे।
मोघरिनी ने ईरान के विदेश मंत्री मोहम्मद जावेद जरीफ के साथ एक संयुक्त प्रेस वक्तव्य में कहा कि एक नये संयंत्र की डिजाइन बदली जाएगी ताकि हथियारों में इस्तेमाल हो सकने वाले प्लूटोनियम का उत्पादन नहीं हो।
मोघरिनी ने कहा कि बदले में संयुक्त राष्ट्र की परमाणु निगरानी संस्था के सत्यापन के बाद अमेरिका और यूरोपीय संघ की परमाणु संबंधित पाबंदियों को हटाया जाएगा।