वित्त मंत्रालय ने पिछले सप्ताह 8.7 प्रतिशत ब्याज दर को मंजूरी दी थी। श्रम मंत्री बंडारू दत्तात्रोय ने ब्याज दर बढ़ोतरी की घोषणा की। कर्मचारी यूनियनों ने भी आज ही वित्त मंत्रालय द्वारा ब्याज दर को घटाकर 8.7 प्रतिशत किए जाने के फैसले के विरोध में राष्ट्रव्यापी विरोध प्रदर्शन की घोषणा की थी। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के निर्णय लेने वाले शीर्ष निकाय केंद्रीय न्यासी बोर्ड (सीबीटी) ने 2015-16 के लिए भविष्य निधि पर 8.8 प्रतिशत ब्याज देने का निर्णय किया था, जिसे वित्त मंत्रालय ने घटाकर 8.7 प्रतिशत कर दिया था।
दत्तात्रेय ने कहा, मुझे खुशी है कि वित्त मंत्रालय 8.8 प्रतिशत की ब्याज दर देने पर सहमत हो गया है। ईपीएफ के मोर्चे पर सरकार तीसरी बार अपने फैसले से पलटी है। पिछले महीने सरकार को भविष्य निधि की निकासी पर एक हिस्से पर कर लगाने के फैसले को वापस लेने पर मजबूर होना पड़ा था। इसके बाद उसने कड़े निकासी नियमों को वापस लिया था।