मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने गुरुवार को कहा कि लोगों को आबादी के हिसाब से आरक्षण मिले। नीतीश कुमार ने पश्चिमी चंपारण के वाल्मीकिनगर में चुनावी जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘हम तो चाहेंगे कि जितनी आबादी है, उसके हिसाब से आरक्षण का प्रावधान होना चाहिए। इसमें हम लोगों की कहीं से कोई दो राय नहीं है।’’ नीतीश ने कहा कि जहां तक संख्या का सवाल है, जनगणना होगी तब उसके बारे में निर्णय होगा। यह निर्णय हमारे हाथ में नहीं है।
मुख्यमंत्री ने कहा,‘’मुझे वोट की चिंता नहीं रहती है। आपने पहले काम करने का मौका दिया तब काफी काम किया। फिर काम करने का मौका मिला तो फिर आपके बीच आएंगे, आपके साथ बैठेंगे और कोई समस्या शेष रह गई हो तो उसका समाधान करेंगे।’’
तेजस्वी यादव के 10 लाख नौकरी देने के वादे पर तंज करते हुए नीतीश कुमार ने कहा, ‘‘लोग जो चाहे बोल देते हैं। 10 लाख लोगों को नौकरी देने की बात करते हैं। मैं कहता हूं कि 10 साल में इंटर पास करने वालों की संख्या एक करोड़ हो गई तब एक करोड़ युवाओं को क्यों (नौकरी) नहीं देंगे? ’’ उन्होंने सवाल किया, ‘‘इसके (नौकरी) लिए पैसा क्या आसमान से आएगा?’’
बिहार के मुख्यमंत्री ने कहा कि जब उन्हें (राजद) मौका मिला तब काम नहीं किया। उनके 15 साल के दौरान सिर्फ 95 हजार लोगों को नौकरी मिली जबकि हमारे 15 साल में छह लाख लोगों को नौकरी दी गई और काम के अन्य अवसर भी दिये गए। गौरतलब है कि राजद नेता तेजस्वी यादव अपनी चुनावी सभाओं में 10 लाख नौकरी देने और विकास के मुद्दे को उठाते हैं।
उधर, सिकटा में चुनावी सभा को संबोधित करते हुए नीतीश कुमार ने कहा, ‘‘कुछ लोग समाज में झगड़ा लगाना चाहते हैं, लेकिन हम हाथ जोड़कर प्रार्थना करते हैं कि आपस में प्रेस से रहे। हम सेवा में लगे रहते हैं, किसी विवाद में नहीं पड़ते।’’ उन्होंने लालू प्रसाद की पार्टी राजद पर परोक्ष निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोगों परिवार के लिये काम करते हैं, उनके परिवार में बेटा, बेटी, पति और पत्नी हैं, लेकिन मेरे लिये पूरे बिहार के लोग ही परिवार हैं।
नीतीश कुमार ने कहा कि शराबबंदी लागू करने के कारण कुछ लोग मुझसे दुखी रहते हैं और धंधेबाज लोग इधर उधर करते रहते हैं। राजद के शासनकाल का हवाला देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि पहले न पढ़ाई की व्यवस्था थी, न इलाज का इंतजाम था और न लोगों के आने जाने की सुविधा थी और शाम के बाद लोगों की घर से निकलने की हिम्मत नहीं होती थी। उन्होंने कहा कि पहले कितनी अपराध की घटनाएं होती थी, कितनी नरसंहार, हत्या की घटनाएं होती थी, डाक्टरों एवं व्यापारियों को भागना पड़ा था।
बिहार के मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘हमने अपराध की घटनाओं को नियंत्रित करने का काम किया है। हमने कानून का राज कायम किया।’’ कुमार ने अपनी सरकार के कार्यों का उल्लेख करते हुए कहा कि हमारी सरकार आने पर स्कूलों की स्थापना की गई, महिलाओं को पंचायतों एवं सरकारी नौकरियों में आरक्षण दिया गया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने न्याय के साथ विकास सुनिश्चित किया और अनुसूचित जाति, जनजाति, पिछड़े, अति पिछड़े, महादलितों सभी को आगे बढ़ाने का काम किया जिन्हें पहले कोई पूछता नहीं था। उन्होंने कहा कि हमें आगे काम करने का मौका मिला तो हर खेत तक सिंचाई का पानी पहुंचा देंगे। नई टेक्नोलॉजी को गांव-गांव तक पहुंचाएंगे, सभी युवक-युवतियों को इसका प्रशिक्षण दिलवाएंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने हर घर तक बिजली पहुंचा दी है जहां साल 2005 में प्रदेश में बिजली की खपत मात्र 500 मेगावाट थी, वह आज 6000 मेगावाट हो गई है।
बता दें कि बिहार मे पहले फेज की वोटिंग 28 अक्टूबर को थी और दूसरे फेज की वोटिंग 3 नवंबर को है उसके साथ 7 नवंबर को तीसरे फेज की वोटिंग है और 10 नवंबर को नतीजे आएंगे.