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कोचिंग सेंटर हादसा: दिल्ली पुलिस लेगी एमसीडी अफसरों पर एक्शन? नालों की सफाई और ‘गैरकानूनी’ पुस्तकालय पर होगी पूछताछ

दिल्ली पुलिस नालों की गाद निकालने और ‘राव आईएएस स्टडी सर्किल’ को अनापत्ति प्रमाणपत्र जारी करने के...
कोचिंग सेंटर हादसा: दिल्ली पुलिस लेगी एमसीडी अफसरों पर एक्शन? नालों की सफाई और ‘गैरकानूनी’ पुस्तकालय पर होगी पूछताछ

दिल्ली पुलिस नालों की गाद निकालने और ‘राव आईएएस स्टडी सर्किल’ को अनापत्ति प्रमाणपत्र जारी करने के बारे में एमसीडी अधिकारियों से पूछताछ कर सकती है, जहां बेसमेंट में पानी भर जाने के कारण तीन विद्यार्थियों की मौत हो गयी। सूत्रों ने सोमवार को यह जानकारी दी।

इस बेसमेंट का इस्तेमाल एक पुस्तकालय के तौर पर किया जा रहा था। सूत्रों ने बताया कि पुलिस इन मुद्दों को लेकर दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) को पत्र लिखने जा रही है और जांच के दौरान आवश्यकता पड़ी तो संबंधित अधिकारियों को पूछताछ के लिए बुलाया जा सकता है। बरसाती नालों से गाद निकालने की जिम्मेदारी एमसीडी की होती है। ऐसा आरोप है कि ओल्ड राजेंद्र नगर में इस कोचिंग सेंटर के समीप कथित जल निकासी प्रणाली उचित तरीके से काम नहीं कर रही थी जिसके कारण सड़क पर बारिश का पानी इकट्ठा हो गया और कोचिंग सेंटर की इमारत के बेसमेंट में घुस गया।

दिल्ली पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि वे नालों की सफाई के बारे में एमसीडी से जानकारियां मांगेंगे। साथ ही यह भी पूछेंगे कि इलाके में कितनी बार निरीक्षण किया गया। सूत्रों ने कहा कि पुलिस एमसीडी से अधिभोग प्रमाणपत्र (ऑक्यूपेन्सी सर्टिफिकेट) भी मांगेगी, जिसमें बेसमेंट के मालिक ने कथित तौर पर कहा था कि इस जगह का इस्तेमाल पार्किंग और सामान के भंडारण के लिए किया जाएगा। पुलिस ने बताया कि बेसमेंट का मालिक इसका इस्तेमाल एक पुस्तकालय के लिए कर रहा था और उसने प्रवेश द्वार पर बायोमीट्रिक प्रणाली भी लगायी थी।

दिल्ली पुलिस ने घटना की जांच के लिए एक प्राथमिकी दर्ज की और कई दल गठित किए हैं। ‘राव आईएएस स्टडी सर्किल’ के मालिक और संयोजक को गिरफ्तार कर उन पर गैर इरादतन हत्या तथा अन्य आरोपों के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। दोनों आरोपियों को रविवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में तिहाड़ भेज दिया गया।

सूत्रों ने बताया कि पुलिस को जांच के दौरान पता चला कि सिविल सेवा के एक अभ्यर्थी ने एक महीने पहले दिल्ली सरकार में शिकायत दर्ज करायी थी कि बेसमेंट का गैरकानूनी तरीके से संचालन किया जा रहा है। हालांकि, इसका कोई फायदा नहीं हुआ।

एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि कुछ और लोग जांच के घेरे में हैं जिन पर घटना के लिए जिम्मेदार होने का संदेह है। उन्हें जल्द ही गिरफ्तार किया जा सकता है या उन्हें समन भेजा जा सकता है। प्राथमिकी में कहा गया है कि जल निकासी प्रणाली के उचित तरीके से काम न करने के कारण सड़क पर बड़ी मात्रा में बारिश का पानी इकट्ठा हो गया और यह चार मंजिला इमारत के बेसमेंट में घुस गया जिसमें पुस्तकालय था।

बेसमेंट में जल निकासी की कोई व्यवस्था न होने के कारण प्राधिकारियों को बचाव अभियान के दौरान पानी को पम्प के जरिए बाहर निकालने में पांच घंटे से भी ज्यादा का वक्त लगा।

पुलिस ने बताया कि इस घटना में मारे गए छात्रों की पहचान उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद की श्रेया यादव (25), तेलंगाना की तान्या सोनी (25) और केरल में एर्नाकुलम के नवीन दलविन के रूप में की गई है।

 

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