एयरसेल-मैक्सिस मामले में दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने पूर्व वित्त मंत्री पी.चिदंबरम और उनके बेटे कार्ति चिदंबरम की गिरफ्तारी पर सात अगस्त तक के लिए रोक लगा दी है।
पिछली बार ईडी ने इसी मामले में कार्ति चिदंबरम के खिलाफ आरोपपत्र दायर किया था। जबकि ईडी ने इस मामले में विस्तृत रिपोर्ट देते हुए इस रोक का विरोध किया है। इससे पहले एयरसेल-मैक्सिस मनी लांड्रिंग मामले में पी. चिदंबरम ईडी के सामने पेश हुए थे।
एयरसेल-मैक्सिस मामला वर्ष 2006 में ग्लोबल कम्युनिकेशन होल्डिंग सर्विसेस लिमिटेड को एयरसेल में निवेश करने के लिए विदेशी निवेश संवर्धन बोर्ड (एफआईपीबी) से 305 करोड़ रुपये मंजूरी दिलाए जाने से जुड़ा है। उस समय पी चिदंबरम मनमोहन सिंह सरकार में वित्त मंत्री थे। आरोप है कि चिदम्बरम ने ही इसे मंजूरी दी थी। सीबीआई ने वर्ष 2007 में 305 करोड़ रुपये की विदेशी निधि हासिल करने के लिए आईएनएक्स मीडिया को एफआईपीबी से मिली मंजूरी में कथित अनियमितता के लिए पिछले साल 15 मई को प्राथमिकी दर्ज की थी।
जांच एजेंसियों का दावा है कि मंजूरी के कुछ दिनों के भीतर ही एयरसेल टेलीवेंचर्स लिमिटेड ने एसपीसीपीएल को भुगतान किया था। इस कंपनी का संबंध कथित तौर पर उनके बेटे कार्ति चिदंबरम से बताया जाता है। ईडी पहले ही इस मामले में कार्ति से पूछताछ कर चुका है।
इससे पहले इस मामले में चिदंबरम ने स्पेशल जज ओ.पी. सैनी की अदालत में गिरफ्तारी से राहत की अपील की थी। अदालत के ईडी को आदेश दिया था कि वह न तो दस जुलाई तक चिदंबरम को गिरफ्तार कर सकती है और न ही कोई दंडात्मक कार्रवाई।