हरियाणा के हिसार जिले में काबरेल गांव के राजकीय कन्या माध्यमिक विद्यालय की सभी छात्राएं इस वर्ष 10वीं कक्षा की परीक्षा उत्तीर्ण नहीं कर पाईं। हरियाणा शिक्षा स्कूल शिक्षा बोर्ड ने पिछले महीने नतीजे घोषित किए थे जिनमें स्कूल में पढ़ने वाली सभी 24 छात्राएं फेल हो गईं।
शिक्षा विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, यह जिले का एकमात्र स्कूल है जिसने इतना खराब प्रदर्शन किया है। गांव के निवासियों ने खराब परिणाम के लिए हरियाणा सरकार और शिक्षा विभाग को जिम्मेदार ठहराया है। न्यूज़ एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, एक ग्रामीण ने मंगलवार को कहा, ‘एक ओर सरकार ‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’ कार्यक्रम पर इतना जोर देती है जबकि दूसरी ओर अधिकारियों ने स्कूल में स्टाफ की कमी की समस्या को हल करने के लिए कुछ नहीं किया।’
उन्होंने दावा किया कि ग्राम पंचायत ने जिला प्रशासन से कई बार मिलकर स्कूल में पर्याप्त संख्या में शिक्षक मुहैया कराने की मांग की, लेकिन स्थिति जस की तस बनी रही।
वहीं, गांव के सरपंच धर्म सिंह का कहना है कि पिछले शैक्षिक सत्र में स्कूल में संस्कृत, हिंदी, विज्ञान और गणित के शिक्षक नहीं थे। उन्होंने कहा, ‘छात्राओं ने कई बार स्कूल में स्टाफ की कमी की शिकायत की।’ एक अन्य बुजुर्ग ग्रामीण ने कहा कि स्कूल में पिछले चार साल से विभिन्न विषयों के शिक्षक नहीं है।
स्कूल के एक शिक्षक ने बताया कि चार साल से हेडमास्टर का पद खाली पड़ा है। उन्होंने बताया कि परीक्षा उत्तीर्ण करने में विफल रही 24 छात्राओं में से 15 ने स्कूल में फिर से दाखिला लिया है। जिला शिक्षा अधिकारी बीएस सेहरावत से संपर्क नहीं हो पाया