साल 2005 में भाजपा विधायक कृष्णानन्द राय की हत्या के मामले में 14 साल बाद सीबीआई कोर्ट का फैसला आया है। कोर्ट ने बसपा विधायक मुख्तार अंसारी समेत सभी आरोपियों को बरी कर दिया। अंसारी के अलावा उनके भाई और सांसद अफजाल अंसारी, संजीव माहेश्वरी, एजाजुल हक, राकेश पांडेय, रामू मल्लाह, मंसूर अंसारी और मुन्ना बजरंगी शामिल हैं। इनमें से मुन्ना बजरंगी की बीते दिनों जेल में हत्या कर दी गई थी।
विधायक समेत 7 लोगों की हुई थी मौत
29 नवम्बर 2005 को भाजपा विधायक कृष्णानंद राय क्षेत्र के सोनाड़ी गांव में क्रिकेट मैच का उद्घाटन करने के बाद वापस अपने गांव लौट रहे थे। शाम करीब चार बजे बसनियां चट्टी पर उनके काफिले को घेरकर ताबड़तोड़ फायरिंग हुई थी। एके-47 से गोलियों की बौछार कर विधायक समेत सात लोगों को मौत के घाट उतार दिया गया था।
शूटर मुन्ना बजरंगी समेत इन लोगों पर लगे आरोप
इस मामले में विधायक मुख्तार अंसारी, जिले के सांसद रहे अफजाल अंसारी समेत और मुन्ना बजरंगी के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था। घटना के कई वर्षों तक मुन्ना बजरंगी नहीं पकड़ा गया तो उसके ऊपर सात लाख रुपये का इनाम घोषित हो गया। विवेचना के दौरान मुन्ना बजरंगी के कई शूटरों का नाम प्रकाश में आया। जिसमें फिरदौस समेत जिवा व अन्य शूटरों को शामिल किया गया। जिले में पहली बार मुन्ना बजरंगी ने इतनी बड़ी घटना को अंजाम दिया था। वह भी मुख्तार गैंग से जुड़ने के बाद सुर्खियों में आया।