सूचना एवं प्रसारण राज्य मंत्री ने एक पुस्तक विमोचन के कार्यक्रम में कहा, आज का दौर है जब सरकार वास्तव में सूचनाएं नहीं छिपा सकती। आपको सूचनाएं पेश करनी होंगी। उन्होंने कहा कि यह तक कहा जाता है कि यदि आपने साझा नहीं किया तो आप खत्म हुए। राठौड़ ने कहा, कि कई बार जब सोशल मीडिया की सूचनाएं सही नहीं होती हैं, और सभी सरकारी एजेंसियों के लिए सही यह होगा कि वह लोगों तक तथ्यों पर आधारित सूचना दे। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह एक ऐसा क्षेत्र है जिस पर सरकार को ध्यान देना चाहिये कि वह तेजी से लोगों तक सूचना पहुंचाये।
उन्होंने कहा, सोशल मीडिया ट्विटर सूचनाओं का भूखा है। राठौड़ ने कहा कि सरकार सोशल मीडिया और इसके उपयोग के बारे में अपने अधिकारियों के लिए कार्यशालायें और प्रशिक्षण सत्र आयोजित कर रही है। सोशल मीडिया के क्षेत्र में सक्रिय मंत्रियों और संगठनों की संख्या भी लगातार बढ़ रही है। राठौड़ ने कहा कि ट्विटर और फेसबुक जैसे सोशल मीडिया की शक्ति अब ऐसी हो गई है कि कि समाचार प्रसारकों को भी क्या चलाएं, क्यां नहीं चलाएं पर फैसला करने से पहले उनपर विचार करना पड़ता है। उन्होंने बताया कि मोबाइल फोन और अकसर सोशल मीडिया के माध्यम से समाचार जानने वाले लोगों की संख्या लगातार बढ़ रही है।
उन्होंने अपने निजी अनुभव से बताया कि जब वह भी सोशल मीडिया के माध्यम से समाचार पढ़ते थे, तब कुछ वरिष्ठों ने टिप्पणी की थी कि किशोरों की तरह वह उससे चिपके हैं।
भाषा