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अस्थाना के खिलाफ शिकायत करने वाले को सुरक्षा मुहैया कराए हैदराबाद पुलिस: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने हैदराबाद पुलिस को मंगलवार को निर्देश दिया कि वह सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना...
अस्थाना के खिलाफ शिकायत करने वाले को सुरक्षा मुहैया कराए हैदराबाद पुलिस: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने हैदराबाद पुलिस को मंगलवार को निर्देश दिया कि वह सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना के खिलाफ कथित रिश्वतखोरी मामले में शिकायतकर्ता व्यापारी सतीश सना को पर्याप्त सुरक्षा मुहैया कराए।

पीटीआई के मुताबिक, प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई, न्यायमूर्ति यू यू ललित और न्यायमूर्ति के एम जोसफ की पीठ ने सना के खिलाफ जारी सीबीआई के समन पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। इसके अलावा सना की वह याचिका भी खारिज कर दी जिसमें उन्होंने उच्चतम न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश ए के पटनायक की मौजूदगी में अपना बयान दर्ज कराने की मांग की थी।

शिकायतकर्ता ने की थी सुरक्षा की मांग 

सीबीआई के विशेष निदेशक के खिलाफ प्राथमिकी सना की शिकायत पर ही दर्ज की गई थी। सना ने सोमवार को शीर्ष अदालत से पुलिस सुरक्षा मुहैया कराने और पूछताछ के लिए एजेंसी द्वारा भेजे गए समन पर रोक लगाने की गुहार लगाई थी। सुनवाई के दौरान सना की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता राजू रामचंद्रन ने कहा कि उनके मुवक्किल की जान को खतरा है, इसलिए उन्हें सुरक्षा देने की जरूरत है।

पीठ ने कहा कि अगर उनकी जान को खतरा है तो वह जरूरी कदम उठाएगी। पीठ ने कहा, ‘‘हम यह कहेंगे कि यहां एक नागरिक है जो व्हिसलब्लोअर होने का दावा करता है और जान को खतरे की आशंका बता रहा है। उन्हें पर्याप्त सुरक्षा दी जानी चाहिए।’’ सीबीआई ने सना की शिकायत पर अस्थाना के खिलाफ 15 अक्टूबर को मामला दर्ज किया था।

सना कर रहा मोइन कुरैशी मामले में जांच का सामना

सना मांस निर्यातक मोइन कुरैशी से जुड़े 2017 के मामले में जांच का सामना कर रहा है। सना ने दावा किया था कि विशेष निदेशक अस्थाना ने मोइन कुरैशी को जांच एजेंसी से क्लीन चिट दिलवाने में कथित तौर पर उसकी मदद की। अपने खिलाफ सीबीआई के समन पर रोक लगाने का अनुरोध करने के अलावा सना ने अपनी याचिका में अस्थाना के खिलाफ जांच जारी रहने के दौरान जान का खतरा बताते हुए पुलिस सुरक्षा की मांग की थी।

आलोक वर्मा और राकेश अस्थाना के बीच गहराया था विवाद

केंद्र सरकार ने अस्थाना और सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा से अधिकार वापस ले लिए हैं और उन्हें अवकाश पर भेज दिया है। सना ने कहा कि सीआरपीसी की धारा 160 के तहत 29 अक्टूबर को कार्यवाही में शामिल होने के लिए उन्हें सीबीआई ने जल्दबादी में नोटिस जारी किया है। सना ने कहा कि वह जांच में सहयोग करने के लिए तैयार हैं और जांच की निगरानी कर रहे न्यायाधीश के निर्देशानुसार जब भी बुलाया जाएगा वह दिल्ली आ जाएंगे। वर्मा और अस्थाना के बीच हाल में विवाद गहरा गया था।

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