जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने बुधवार को 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत पाकिस्तान के खिलाफ भारत की कार्रवाई का समर्थन करते हुए कहा कि पहलगाम में जो हुआ उसका जवाब देना भारत के लिए आवश्यक था। उन्होंने यह भी जोड़ा कि अब यह पड़ोसी देश पाकिस्तान पर निर्भर करता है कि वह हालात को कितना बिगाड़ना चाहता है।
ऑपरेशन सिंदूर को लेकर मुख्यमंत्री अब्दुल्ला ने कहा “22 अप्रैल को पहलगाम में जो हमला हुआ, जिसमें 26 लोगों की जान गई, उसे मैं नहीं भूल सकता। उस समय केंद्र सरकार ने कहा था कि वह अपने तरीके से जवाब देगी। भारत ने जिस तरीके से जवाब दिया, वह केवल किसी आम नागरिक या सैन्य क्षेत्र को निशाना बनाना नहीं था। ऑपरेशन सिंदूर के माध्यम से उन इलाकों को निशाना बनाया गया जहां पिछले 30-35 वर्षों से वो लोग रह रहे थे, जिन्होंने जम्मू-कश्मीर में तबाही और अशांति फैलाई।
उमर अब्दुल्ला ने कहा, “अगर पहलगाम में लोग नहीं मारे गए होते, तो आज यह स्थिति नहीं बनती। हम शांति से रह रहे थे। जम्मू-कश्मीर के अंदर हालात स्थिर थे, और पर्यटन बढ़ रहा था। नियंत्रण रेखा (LoC) पर सीज़फायर लागू था। ये हालात हमने पैदा नहीं किए। हमें उस हमले का जवाब देना पड़ा। लेकिन अब यह पाकिस्तान पर है कि वह इस स्थिति को कितना बढ़ाना चाहता है। कोई भी युद्ध जम्मू-कश्मीर को प्रभावित करता है। हम आशा करते हैं कि स्थिति सामान्य हो, लेकिन इसके लिए पाकिस्तान को अपनी बंदूकें खामोश करनी होंगी।”
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने बताया कि उन्होंने सीमा और नियंत्रण रेखा (LoC) के पास स्थित जिलों के जिलाधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए समीक्षा बैठक की है। उन्होंने कहा, “मैंने हालात की पूरी जानकारी ली है। कुछ स्थानों से नुकसान की खबरें आई हैं, लेकिन फिलहाल रिपोर्ट्स इकट्ठा की जा रही हैं। मैंने जिलाधिकारियों को किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए धनराशि जारी कर दी है। अगर लोगों को निकालने की आवश्यकता हुई तो इसके लिए वाहन और एंबुलेंस की व्यवस्था की गई है।”
उन्होंने आगे कहा, “हम केवल यही उम्मीद कर सकते हैं कि यह सब जल्द खत्म हो। अगर उस पार की बंदूकें रुक जाती हैं, तो हमारी भी रुक जाएंगी। फिलहाल हमारे नागरिक इलाकों को निशाना बनाया जा रहा है।”
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने घाटी के लोगों से घबराने या भागने की बजाय संयम बनाए रखने की अपील की। उन्होंने कहा, “अभी घबराने की कोई जरूरत नहीं है। आवश्यक वस्तुओं की कोई कमी नहीं है, अस्पतालों के ब्लड बैंक में पर्याप्त मात्रा में आपूर्ति है। हाईवे पूरी तरह खुला है। लोगों को डरने या यहां से भागने की आवश्यकता नहीं है। जम्मू और श्रीनगर में स्कूल खुले हैं, हालांकि श्रीनगर हवाईअड्डा बंद है।”
गौरतलब है कि पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारतीय सशस्त्र बलों ने बुधवार सुबह 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत जम्मू-कश्मीर (PoJK) में स्थित आतंकवादी ठिकानों पर हमला किया। इस अभियान के दौरान नौ आतंकवादी ठिकानों को निशाना बनाया गया और सभी नौ लक्ष्य सफल रहे।