प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश में एक बार फिर प्रचंड रूप धारण कर रही कोरोना महामारी के खिलाफ अभियान में जीत के लिए जनभागीदारी और जनांदोलन जारी रखने की जरूरत पर बल दिया है। रविवार को वीडियो कांफ्रेन्स के माध्यम से एक उच्च स्तरीय बैठक में पीएम मोदी ने कोविड-19 के संक्रमण में तेजी से उत्पन्न स्थिति तथा देश में चलाये जा रहे टीकाकरण कार्यक्रम की समीक्षा की।
उन्होंने कहा कि इस अभियान की सफलता के लिए लोगों को जागरूक कर जनांदोलन में शामिल करने की बेहद अधिक जरूरत है। साथ ही उन्होंने कहा कि जांच, संपर्कों का पता लगाना , उपचार , कोविड प्रोटोकाॅल का पालन और टीकाकरण की पांच सूत्री रणनीति को भी पूरी गंभीरता और सख्ती से लागू करने की भी जरूरत है। इसे ध्यान में रखते हुए देश भर में सभी सार्वजनिक स्थानों, कार्यस्थलों और स्वास्थ्य केन्द्रों में कोविड प्रोटोकॉल पर अमल के लिए 6 अप्रैल से 14 अप्रैल तक विशेष अभियान चलाया जायेगा जिसमें मास्क पहनने, व्यक्तिगत साफ सफाई और स्वच्छता पर जोर दिया जायेगा।
प्रधानमंत्री ने कहा कि संक्रमित लोगों के लिए अस्पतालों में पर्याप्त बिस्तरों, जांच सुविधा और उपचार की सुविधा सुनिश्चित की जानी चाहिए। कोरोना के कारण मौत के मामलों पर अंकुश लगाने के लिए उन्होंने स्वास्थ्य सुविधा ढांचे को मजबूत बनाने, ऑक्सीजन की आपूर्ति और वेंटीलेटरों की उपलब्धता पर भी जोर दिया।
उन्होंने सबसे अधिक प्रभावित महाराष्ट्र , पंजाब और छत्तीसगढ में विशेषज्ञों की केन्द्रीय टीम भेजने का निर्देश दिया। इस मौके पर एक प्रजेन्टेशन में बताया गया कि दस राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों में हालत ज्यादा खराब है और कुल मामलों का 91 प्रतिशत इन्हीं में बैठक में प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव, केन्द्रीय गृह सचिव, टीकाकरण पर गठित अधिकार प्राप्त समिति के अध्यक्ष, स्वास्थ्य सचिव और अनेक वरिष्ठ अधिकारियों ने हिस्सा लिया।