केंद्र सरकार ने दिवंगत पूर्व लोकसभा सदस्य पी ए संगमा के परिवार से 34, एपीजे अब्दुल कलाम रोड स्थित बंगले को खाली करने को कहा है। माना जा रहा है कि यह बंगला बतौर पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को आवंटित किया जाएगा। सरकार के इस कदम से यह भी संकेत मिलता है कि मुखर्जी के दूसरी बार राष्ट्रपति बनने की संभावना नहीं है। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का कार्यकाल अगले साल जुलाई में समाप्त होने वाला है। फिलहाल टाइप-8 बंगले में संगमा के बेटे कॉनराड रहते हैं जो मेघालय में तुरा से लोकसभा सांसद हैं। एक सूत्र ने बताया कि शहरी विकास मंत्रालय ने उनसे बंगला छोड़ने का अनुरोध किया है क्योंकि पहली बार सांसद बने सदस्य को टाइप-8 बंगले में रहने का अधिकार नहीं है जो सरकारी आवास के लिहाज से बंगलों की सर्वोच्च श्रेणी है। लुटियन्स जोन में इन बंगलों की सर्वाधिक मांग रहती है।
विभाग के सूत्र ने यह भी कहा कि राष्ट्रपति सचिवालय ने भी शहरी विकास मंत्रालय से अनुरोध किया है कि मुखर्जी के लिए एक उचित आवास तलाशा जाए जिनका कार्यकाल अगले साल जुलाई में समाप्त हो रहा है। मिली जानकारी के अनुसार राष्ट्रपति सचिवालय के अधिकारियों को एपीजे अब्दुल कलाम रोड पर स्थित यह बंगला दिखाया गया और वे इस बात के लिए तैयार हो गए कि मुखर्जी का कार्यकाल समाप्त होने के बाद यह उनका नया आवास हो सकता है। पी ए संगमा को हराकर मुखर्जी भारत के 13वें राष्ट्रपति बने थे। संगमा का इस साल मार्च में 68 साल की आयु में निधन हो गया था। किसी पूर्व राष्ट्रपति को राष्ट्रपति पेंशन नियम, 1962 के अनुसार अपने शेष जीवनकाल में भारत में कहीं भी निशुल्क आवास पाने का अधिकार होता है जिसमें बिजली और पानी की सुविधा भी निशुल्क होती है।