जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय की पूर्व छात्र नेता और जेएनयूएसयू की पूर्व उपाध्यक्ष शेहला रशीद की मुश्किलें बढ़ती जा रही है। शेहला रशीद के खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा दर्ज किया गया है। शेहला पर भारतीय सेना और सरकार के खिलाफ झूठी खबरें फैलाने का आरोप है।
आपराधिक शिकायत पर दर्ज एफआईआर
दिल्ली पुलिस ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट के वकील अलख आलोक श्रीवास्तव की आपराधिक शिकायत पर एफआईआर दर्ज की। शिकायतकर्ता ने भारतीय सेना के खिलाफ फर्जी खबर फैलाने के आरोप में कार्यकर्ता शेहला राशिद की गिरफ्तारी की मांग की थी।
अनुच्छेद-370 हटाने के बाद आर्मी को लेकर किया था विवादित और फर्जी ट्वीट
दरअसल, जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद-370 हटाने के कुछ दिन बाद जेएनयू छात्र संघ की पूर्व उपाध्यक्ष शेहला रशीद ने कश्मीर के मौजूदा हालातों पर आर्मी को लेकर विवादित और फर्जी ट्वीट किया था। शेहला के दावों को खारिज करते हुए आर्मी ने इसे बेबुनियाद करार दिया था। जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट के वकील अलख आलोक श्रीवास्तव ने उनके खिलाफ आपराधिक शिकायत दर्ज की कराई।
सेना पर लगाया था झूठा आरोप
शेहला रशीद ने 18 अगस्त को 10 ट्वीट करते हुए कहा था कि कश्मीर घाटी में स्थिति बेहद खराब है और सुरक्षाबल लोगों को बार-बार परेशान कर रहे हैं। हालांकि सेना ने सभी आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए बेबुनियाद और तथ्यहीन बताया था। वहीं, शेहला राशिद के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में एक आपराधिक शिकायत दर्ज की गई थी। वकील ने अपनी शिकायत में फर्जी खबर फैलाने के आरोप में राशिद की गिरफ्तारी की मांग की थी। इसके बाद दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने शुक्रवार को शेहला के खिलाफ देशद्रोह के साथ अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है।
भारतीय सेना ने दिया था ये जवाब
सिर्फ यही नहीं शेहला रशीद के ट्वीट पर भारतीय सेना ने भी जवाब दिया था। भारतीय सेना ने इस पर ट्वीट किया था, 'शेहला रशीद द्वारा लगाए गए आरोप बेबुनियाद और खारिज हैं। ऐसी असत्यापित और फर्जी खबरें असामाजिक तत्वों और संगठनों द्वारा अनसुनी आबादी को भड़काने के लिए फैलाई जाती हैं।'