सीबीआई ने पूर्व में इस मामले में राज्यसभा सांसद विजय दर्डा, उनके पुत्र देवेंद्र दर्डा, एएमआर आयरन एंड स्टील प्राइवेट लिमिटेड और इसके निदेशक मनोज जायसवाल के खिलाफ आरोपपत्र दायर किया था। गुप्ता और जनोटी को 21 जुलाई को इस मामले में आरोपी के रूप में सम्मन जारी किया गया था। दोनों अदालत के समक्ष पेश हुए और अपनी-अपनी जमानत याचिकाएं दायर कीं।
सीबीआई की विशेष अदालत के न्यायाधीश भरत पराशर ने एक-एक लाख रपए के निजी मुचलके और इतने ही मूल्य की जमानत राशि पर गुप्ता और जनोटी की जमानत याचिकाएं मंजूर कर ली। जनोटी पूर्व में कोयला मंत्रालय में पदस्थ थे। वह इस वर्ष 31 मई को गृह मंत्राालय से सेवानिवृत्त हुए।
पूर्व मंत्री बगरोडिया को भी इस मामले में अदालत से आरोपी के रूप में सम्मन जारी किया गया था। बगरोडिया की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता एन हरिहरन ने अदालत को बताया कि उनके मुवक्किल की आयु करीब 75 वर्ष है। वह बीमार हैं और चिकित्सक से उन्हें आराम करने की सलाह दी है। उन्होंने अदालत को भरोसा दिलाया कि बगरोडिया सुनवाई की अगली तारीख को अदालत के समक्ष पेश होंगे। अदालत ने बगरोडिया की जमानत मंजूर कर ली और मामले की आगे की सुनवाई के लिए आठ सितंबर की तारीख तय की।