संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के दुबई में जलवायु परिवर्तन को लेकर आयोजित बैठक में विभिन्न देशों के प्रतिनिधि हिस्सा लेने पहुंच रहे हैं। इसी क्रम में ईशा फॉउंडेशन के संस्थापक सदगुरु जग्गी वासुदेव का कहना है कि जलवायु कार्रवाई की दिशा में भारत का नेतृत्व बहुत महत्वपूर्ण है।
उन्होंने कहा, "जिस तरह हम राष्ट्रों को ऊर्जावान बनाते हैं, जिस तरह हम अपनी अर्थव्यवस्थाओं में सुधार करने की कोशिश करते हैं, वह रातों रात नहीं होने वाला है। सबसे पहले हम किसी भी चीज के बारे में सोचते हैं फिर हम उस पर बात करतें हैं तब उसमें हम अपनी भावनाएं निवेश करतें हैं कई बार हम सहमत और असहमत होते हैं और चीजे सुधारने के लिए काम करेंगे, दुर्भाग्य से जब हम कुछ वैश्विक स्तर पर करते है तो यही चीज़ों को करने की प्रकृति है।
#WATCH | Dubai, UAE: On COP28 Summit, Isha Foundation Founder Sadhguru Jaggi Vasudev says, "... The way we energize the nations, the way we improve our economies is not gonna happen overnight. This is how human beings function. First, we think of something, then we talk, then we… pic.twitter.com/QOLMRE6NMc
— ANI (@ANI) December 1, 2023
उन्होंने यह भी कहा कि समाजों के बीच भारी आर्थिक असमानता है। उन्होंने कहा, " कोप कोई सम्पूर्ण समाधान नहीं है यह जागरूकता और कार्रवाई दोनो को एक साथ लाने का केवल एक प्रयास है। भारत पेरिस में किए गए वादों को पूरा कर रहा है। यह बहुत महत्वपूर्ण है, खासकर COP28 में, क्योंकि कई शीर्ष वैश्विक नेता गायब हैं। भारत का नेतृत्व बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि हम एक बहुत बड़ा देश हैं और सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था हैं।"
सदगुरु ने कहा, "हम पेरिस में किए वादों को अपने वादे से कहीं अधिक तेजी से पूरा कर रहे हैं। यह हमें एक निश्चित नेतृत्व देता है। भारत ने अफ्रीकी देशों को G20 में लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। अफ्रीकी देशों को आवाज देना एक बड़ी बात है क्योंकि अफ्रीका अगले वर्षों में एक बड़ी विकास गाथा बन सकता है। भारत और अफ्रीका का एक साथ आना बहुत महत्वपूर्ण है।"
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी COP 28 में हिस्सा लेने के लिए पहुंच चुके हैं, जहां यूएई के राष्ट्रपति, यूएन प्रमुख ने उनका स्वागत भी किया। गुरुवार से शुरू होने वाली दुनिया की सबसे महत्वपूर्ण जलवायु बैठक की मेजबानी संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) द्वारा दुबई में की जा रही है, जो दुनिया के शीर्ष दस तेल उत्पादकों में से एक है।
COP28 साल का विश्व नेताओं का सबसे बड़ा जमावड़ा होगा। किंग चार्ल्स तृतीय और ऋषि सनक, दर्जनों अन्य विश्व नेताओं और लगभग 70,000 अन्य उपस्थित लोगों के साथ वहां होंगे।