सुप्रीम कोर्ट ने माल्या से यह भी बताने को कहा कि डियागियो से मिले चार करोड डॉलर का उन्होंने क्या किया। इससे पहले कर्नाटक उच्च न्यायालय ने माल्या को 24 नवंबर को उसके समक्ष हाजिर होने का समन भी जारी किया है। हालांकि कई बार विभिन्न अदालतों के नोटिस और समन के बावजूद माल्या एक बार भी अदालत में हाजिर नहीं हुए हैं।
अदालत ने यह समन विजय माल्या और उसकी कंपनी द्वारा दिये गये वचन का कथित पालन नहीं करने पर जारी किया है। इन दोनों ने वचन दिया था कि वह कंपनी यूनाइटेड ब्रेवरीज में अपनी शेयर भागीदारी को डियाजिओ पीएलसी को हस्तांतरित नहीं करेंगे।
इधर बैंक अपने कर्जे को वसूलने के लिए विजय माल्या की संपत्ति नीलाम करना चाहते हैं। लेकिन माल्या की कोई भी संपत्ति अभी तक नीलाम नहीं हो पाई हैं। इसी माह माल्या के गोवा में समुद्र किनारे बने बंगले की भी नीलामी नहीं हो पाई। जिन 6 कंपनियों ने नीलामी की जानकारी लेने में रूचि दिखाई थी, वो भी बोली में शामिल नहीं हुईं। सूत्रों के अनुसार बैंक ने बंगले की कीमत बाजार भाव से काफी ज्यादा रखी थी।
भारतीय स्टेट बैंक की अगुवाई में 17 बैंकों का गठजोड़ किंगफिशर विला की नीलामी कर रहा था। बंगला का स्वामित्व विजय माल्या के पास है। गोवा में ये एक दर्शनीय स्थल है।