नई दिल्ली। स्विस बैंक में खाते से जुड़े मामले में पूर्व केंद्रीय मंत्री वसंत साठे के पुत्र और बहू को आज दिल्ली की एक अदालत में पेश होना पड़ा। उन पर उनके स्विस बैंक के संयुक्त खाते का आयकर विभाग को कथित तौर पर खुलासा नहीं करने का आरोप है। उनके यहां पेश होने के बाद उन्हें जमानत दे दी। उन पर उनके स्विस बैंक के संयुक्त खाते का आयकर विभाग को कथित तौर पर खुलासा नहीं करने का आरोप है। पूर्व मंत्री के बेटे सुभाष साठे और पुत्रावधू इंद्राणी साठे को स्विस खातों की जानकारी छिपाने के मामले में किए समन जारी हुए थे। इस मामले में जमानत के लिए दोनों आज अतिरिक्त मुख्य मेटोपोलिटन मजिस्टेट देवेंद्र कुमार शर्मा के सम्मुख प्रस्तुत हुए।
अदालत ने उनमें से प्रत्येक को 50,000 रूपये के निजी बांड और इतनी ही राशि मुचलके के आधार पर जमानत दे दी। अब इस मामले में आरोप-पत्र दायर करने से पहले सबूत दर्ज करने की प्रक्रिया के लिए 10 जुलाई की तारीख नियत की गई है। इससे पहले आयकर विभाग की शिकायत के आधार पर अदालत ने उनके खिलाफ समन जारी किया था। विभाग ने आरोप लगाया था कि दंपत्ति का एचएसबीसी बैंक की जिनेवा शाखा में एक संयुक्त खाता था जिसमें लगभग सात लाख अमेरिकी डाॅलर की राशि अब (4.44 करोड़ रूपये से ज्यादा) है।
विभाग ने दावा किया कि दंपत्ति से उसकी जांच शाखा ने पूछताछ की है और उन्होेंने आरोपों को स्वीकार कर लिया है एवं वे अपना बकाया कर जमा करने के लिए तैयार हैं। शिकायत के अनुसार दिसंबर 2006 को उनके खाते में शेष रकम 7,49,370 अमेरिकी डाॅलर थी। साठे दंपत्ति सन वैक्यूम फाॅर्मस प्राइवेट लिमिटेड और टीआरडब्ल्यू सन स्टीरियिंग व्हील्स प्राइवेट लिमिटेड कंपनियों के निदेशक हैं और इनकी निर्माण इकाईयां गुड़गांव, मानेसर और पुणे में हैं।