रिपब्लिक-डे परेड के चलते करीब एक हजार फ्लाट्स एक सप्ताह के लिए इंदिरा गांधी इंटरनेशनल (आईजीआई) के रन-वे से उड़ान नहीं भर सकेंगी। यह फ्लाइट्स या तो कैंसल रहेंगी या फिर इनके समय में बदलाव किया जाएगा।
एयरपोर्ट अधिकारियों के मुताबिक, अनुमान है कि करीब पांच सौ घरेलू उड़ान कैंसल रहेंगी और प्रतिबंधों के चलते अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट्स के समय में भी बदलाव किया जाएगा। यह फैसला इसलिए लिया गया है क्योंकि इस साल ट्रैफिक खासा बढ़ गया है। कमर्शियल फ्लाइट्स इस दौरान रिहर्सल के चलते बंद रहेंगी। एयरपोर्ट अथॉरिटी ने इस बारे में हवाईकर्मियों को नोटिस जारी कहा है कि दिल्ली एयरपोर्ट से 18 से 26 जनवरी के बीच सुबह 10.35 से दोपहर 12.15 के बीच फ्लाइट्स को न तो लैंड करने की मंजूरी दी जाएगी और न ही उड़ान भरने की।
आईजीआई एयरपोर्ट पर सुबह 8 से 11 के बीच करीब 67 एयर ट्रैफिक टेक ऑफ और लैडिंग करती हैं। करीब सौ मिनट तक इन फ्लाइट्स को एयरस्पेस नहीं दिया जाएगा जिसके चलते करीब एक हजार फ्लाट्स या तो कैंसल रहेंगी या फिर उनके समय में बदलाव किया जाएगा। एय़रपोर्ट अधिकारियों का कहना है कि औसतन करीब सौ फ्लाइट्स प्रतिदिन प्रभावित होंगी और हम करीब 40 अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट्स को तय समय से पहले या बाद में एडजस्ट कर लेंगे। बाकी की 60 फ्लाइट्स के लिए समय में बदलाव करने की कोशिश करेंगे। तब केवल 50 फ्लाइट्स को ही कैंसल करना पड़ेगा। किसी अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट्स को कैंसल नहीं किया जाएगा।
इस बारे में डायल, एयर नेवीगेशन सर्विसेस, एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया और कई बड़ी एयरलाइंस से विभिन्न विकल्पों पर बातचीत हुई है। क्षमताओं को देखते हुए इस बात को ध्यान में रखा जाएगा कि यात्रियों को कम से कम असुविधा हो। रिहर्सल के दौरान कम से कम फ्लाइट्स कैंसल हो और बेहतर तथा सुरक्षित तरीका अपनाया जा सके, इस पर सभी सहमत हुए हैं। इसे देखते हुए फ्लाइट्स को कैंसल या उनके समय में बदलाव किया जाएगा। अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट्स को समय में बदलाव के लिए अनुरोध किया गया है। एयरपोर्ट अधिकारियों का कहना है कि इससे पहले जब भी जरूरत हुई तो फ्लाट्स को एडजस्ट किया गया है लेकिन अब एयरस्पेस की कमी के कारण इस बार फ्लाइट्स कैंसल करना मजबूरी होगा।