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सुप्रीम कोर्ट में केजरीवाल सरकार की पैरवी करेंगे चिदंबरम

उपराज्यपाल से अधिकारों की जंग लड़ रही दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में अपनी पैरवी...
सुप्रीम कोर्ट में केजरीवाल सरकार की पैरवी करेंगे चिदंबरम

उपराज्यपाल से अधिकारों की जंग लड़ रही दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में अपनी पैरवी के लिए कांग्रेस नेता और पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री पी चिदंबरम को चुना है। चिदंबरम उन नेताओं में शामिल हैं जिन पर केजरीवाल और उनके साथियों ने अन्ना हजारे के भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन के दौरान बेहद गंभीर आरोप लगाए थे। उपराज्यपाल को दिल्ली का प्रशासनिक मुखिया बताने वाले दिल्ली हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ केजरीवाल सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में अपील दायर कर रखी है।

सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को इस याचिका पर सुनवाई करते हुए उपराज्यपाल को ही बॉस माना था। हालांकि शीर्ष अदालत ने यह भी कहा था कि उपराज्यपाल फाइल रोक कर नहीं बैठ सकते और सरकार और उपराज्यपाल के बीच किसी मसले पर मतभेद होने की स्थिति में राष्ट्रपति की राय निर्णायक होगी। आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता आशुतोष ने बताया कि इस याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान अपना पक्ष रखने के लिए केजरीवाल सरकार ने नौ वकीलों के नाम तय किए हैं। इनमें से एक पी चिदंबरम भी हैं। उन्होंने दिल्ली सरकार की ओर से पेश होने को लेकर सहमति दे दी है।

चिदंबरम ने एनडीटीवी से बातचीत में इसकी पुष्टि करते हुए कहा है कि उन्हें नहीं लगता कि संविधान में उपराज्यपाल को सुप्रीम शक्ति बनाया गया है और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली की सरकार शक्तिहीन इकाई है। चिदंबरम से मदद मांगे जाने को लेकर कांग्रेस नेताओं ने दिल्ली सरकार पर कटाक्ष भी किए हैं। दिल्ली कांग्रेस की प्रवक्ता और पूर्व राष्ट्रपति डॉ. प्रणब मुखर्जी की पुत्री शर्मिष्ठा मुखर्जी ने एक ट्वीट में कहा है, "चिदंबरम जी को सबसे भ्रष्ट और जनविरोधी बताने के बाद बेशर्म आप उनकी सेवाएं हासिल करना चाहती है... क्या अरविंद केजरीवाल उन्हें केस के बारे में जानकारी देने गए थे...?"

एनडीटीवी ने वरिष्ठ अधिवक्ता इंदिरा जयसिंह के हवाले से बताया है कि यह पहला मौका नहीं है जब चिदंबरम केजरीवाल सरकार को सलाह देंगे। संसदीय सचिवों की नियुक्ति जैसे संवैधानिक मामलों में भी वे केजरीवाल सरकार को सलाह दे चुके हैं। जयसिंह भी उन शीर्ष वकीलों में हैं जो दिल्ली सरकार का पक्ष रखेंगी। सुप्रीम कोर्ट में दिल्ली सरकार की याचिका पर अगली सुनवाई मंगलवार को होगी। इस दौरान चिदंबरम के प्रस्तुत होने की संभावना है। गुरुवार को गोपाल सुब्रह्मण्यम ने दिल्ली सरकार का पक्ष अदालत के सामने रखा था। 

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