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असम में बाढ़ की स्थिति में सुधार, नदियों में जलस्तर खतरे के निशान से नीचे

असम में बाढ़ की स्थिति में मंगलवार को काफी सुधार हुआ और ब्रह्मपुत्र एवं उसकी सहायक नदियों सहित सभी...
असम में बाढ़ की स्थिति में सुधार, नदियों में जलस्तर खतरे के निशान से नीचे

असम में बाढ़ की स्थिति में मंगलवार को काफी सुधार हुआ और ब्रह्मपुत्र एवं उसकी सहायक नदियों सहित सभी प्रमुख नदियां खतरे के निशान से नीचे बह रही हैं। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।

अधिकारियों ने बताया कि पिछले 24 घंटों के दौरान राज्य के किसी भी हिस्से से बारिश की कोई खबर नहीं है। राज्य के नौ जिलों में बाढ़ से फिलहाल करीब 1.60 लाख लोग प्रभावित हैं।

बाढ़ और भूस्खलन की पहली लहर में मरने वालों की संख्या 27 हो गई है। सोमवार को श्रीभूमि जिले में एक व्यक्ति पानी में डूब गया। उन्होंने बताया कि कुल 25 राजस्व क्षेत्रों (हलकों) के 389 गांव बाढ़ से प्रभावित हैं।

श्रीभूमि सबसे अधिक प्रभावित जिला है, जहां 1.20 लाख से अधिक लोग अब भी बाढ़ से प्रभावित हैं।

प्रभावित जिलों के अधिकारियों ने राहत शिविर खोले हैं और 6,000 से अधिक लोग अब भी इस उद्देश्य के लिए स्थापित 91 शिविरों में शरण लिए हुए हैं, जबकि 40,000 से अधिक वितरण केंद्र राहत सामग्री प्रदान कर रहे हैं।

बाढ़ के पानी में 3,594.26 हेक्टेयर क्षेत्र में लगी फसल जलमग्न हो चुकी है और 1,13,605 पशु भी प्रभावित हुए हैं। बाढ़ की मौजूदा लहर से काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान और बाघ अभयारण्य भी प्रभावित है, जहां सात पशुओं की मौत हो गई है।

असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) के बुलेटिन के अनुसार, कामरूप जिला अब भी बाढ़ से प्रभावित है और तीन राहत शिविर स्थापित किए गए हैं, जहां 61 लोगों ने शरण ली है।

वर्तमान में हैलाकांडी, कामरूप, श्रीभूमि, मोरीगांव, कछार, गोलाघाट, नागांव, कामरूप (मेट्रो) और लखीमपुर जिले बाढ़ से प्रभावित हैं।

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